Thursday, April 10, 2025
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Sabse Bada Desh Kaun Sa Hai

अगर आप दुनिया और देश की जानकारी प्राप्त करना चाहते है तो आज की लेख आपके बहुत जायदा काम आने वाला है. इस ब्लॉग पोस्ट में हम बताने वाले है की विश्व का Sabse Bada Desh Kaun Sa Hai वो भी अलग अलग आधार पे. 

जब हम सबसे बारे देश की बात करने वाले है तो आपको ये भी जानना जरुरी है की दुनिया में कुल कितने देश है ? 

आज विश्व में कुल 195 देश हैं। 

अब इन 195 देश में अलग अलग देश अलग अलग आधार पर सबसे बड़े है. जो आज इस लेख में आपको जानकारी मिलने वाली है. तो हम जनसँख्या, क्षेत्रफल, टेक्नोलॉजी, इम्पोर्ट, एक्सपोर्ट, और आर्थिक इन सब आधार पर देखेंगे की Sabse Bada Desh Kaun Sa Hai?

तो चलिए जानते है सबसे बारे देश के बारे में वो भी विस्तार से.

Sabse Bada Desh Kaun Sa Hai

विश्व का Sabse Bada Desh Kaun Sa Hai?

देखा जाये तो इस सवाल सीधा सा कोई जवाब नहीं है इसका कारन है की अलग अलग आधार पर अलग अलग देश का नाम सबसे बारे देश की लिस्ट सबसे ऊपर आता है.

तो चलिए एक एक कर के अलग अलग पहलु को देखते हुए सबसे बड़े देश का नाम जानते है.

Sabse Bada Desh Kaun Sa Hai क्षेत्रफल में ?  क्षेत्रफल की दृष्टि से सबसे बड़ा देश कौन सा है? 

क्षेत्रफल की दृष्टि से दुनिया में सबसे बारे देश रूस है. इसका कुल क्षेत्रफल 17,125,200 वर्ग किलोमीटर में फैला हुआ है  

रूस क्षेत्रफल: 17,075,400 वर्ग कि.मी

कनाडा क्षेत्रफल: 9,984,670 वर्ग कि.मी

संयुक्त राज्य अमरीका क्षेत्रफल: 9,826,675 वर्ग कि.मी

चीन क्षेत्रफल: 9,598,094 वर्ग कि.मी

ब्राज़ील क्षेत्रफल: 8,514,877 वर्ग कि.मी

सबसे बड़ा देश कौन सा है जनसंख्या में ? जनसंख्या की दृष्टि से सबसे बड़ा देश कौन सा है?

जनसंख्या के आधार पर दुनिया का सबसे बड़ा देश चीन है. 

जनसंख्या के आधार पर दुनिया का सबसे बड़ा देश चीन है.  चीन की कुल जनसंख्या 139.77 करोड़ है. 

चीन   1,39,77,60,000 (139.77 करोड़)

भारत  1,36,64,30,000 (136.64 करोड़)

संयुक्त राज्य अमेरिका      32,82,58,000 (32.82 करोड़)

इंडोनेशिया            279,965,000 (27.06 करोड़)

पाकिस्तान                      21,66,15,000 (21.66 करोड़)

आर्थिक स्थिति के अनुसार सबसे बड़ा देश कौन सा है?

आर्थिक उपलब्धता के अनुसार बात करे तो USA (संयुक्त राज्य अमेरिका) सबसे बड़ा देश हैं. जीडीपी भी देखा जाये तो संयुक्त राज्य अमेरिका का सबसे अधिक है. 

टेक्नोलॉजी के आधार सबसे बड़ा देश कौन सा है?

टेक्नोलॉजी के आधार पर सबसे बारे देश जापान है.  इसके अलावा टॉप 5 देश के नाम सांझा कर रहा हु जो टेक्नोलॉजी के आधार पर सबसे बड़े देश है.

जापान (Japan).

दक्षिण कोरिया (South Korea). 

चीन (China).

संयुक्त राज्य अमेरिका (United States). 

जर्मनी (Germany). 

किस देश की जीडीपी सबसे ज्यादा है (Which country will have the highest GDP in 2021) ?

United States. GDP      – $20.81 trillion

China. GDP                  – $14.86 trillion

Japan. GDP                  – $4.91 trillion

Germany. GDP             – $3.78 trillion

United Kingdom. GDP  – $2.64 trillion

India. GDP                    – $2.59 trillion

France. GDP                 – $2.55 trillion

विश्व में वस्तुओं का सबसे बड़ा निर्यातक देश कौन सा है? (Which Country Is the Largest Exporter of Goods in the World) ?

विश्व में सबसे बड़ा निर्यातक देश चीन है.

विश्व का सबसे बड़ा आयातक देश (World Largest Importer Country)

दुनिया का सबसे बड़ा आयातक देश संयुक्त राज्य अमेरिका(United States of America) है .

दुनिया के 5 सबसे बड़े आयातक देश (WORLD’S 5 LARGEST IMPORTERS Countries)

देश के नाम वार्षिक आयात मूल्य

संयुक्त राज्य अमेरिका (United States) $2.35 trillion

चीन (China) $1.89 trillion

जर्मनी (Germany) $1.10 trillion

जापान (Japan) $625 billion

दोस्तों इस कह में मैंने दुनिया के सबसे बड़े देश के बारे में अलग अलग आधार पे पूर्ण जानकारी देने की कोशिश की है. अगर ये जानकारी आपको अच्छी लगी तो इस ब्लॉग पोस्ट को अपने दोस्तों के साथ जरूर शेयर करे. 

अगर आपके पास कोई जानकारी जो आप चाहते है इस लेख में जोड़ना तो कमेंट सेक्शन में हमे जरूर बताये. अगर आपका इस पोस्ट से ज़ुरा कोई सवाल या सुझाव हो कमेंट सेक्शन में हमे जरूर लिख कर बताये. 

Veto Power Kya Hai

आप में बहुत सारे लोगो ने वीटो पावर का नाम सुना होगा पर क्या आप जानते है की ये Veto Power kya hai अगर आप नहीं जानते है तो आप बिलकुल सही जगह पे है इस लेख में हमको वीटो पावर के बारे में पूरी जानकारी देने वाले है.

तो चलिए जानते है की ये Veto Power Kya Hai और ये कैसे मिलता है?

Veto Power Kya Hai (What is Veto Power in Hindi)

Veto Power Kya Hai

वीटो पावर संयुक्त राष्ट्र संघ के मुख्य अंग सुरक्षा परिषद के स्थायी सदस्य देशों को मिला एक ऐसा विशेषाधिकार हैं, जिसके इस्तेमाल करने पर किसी अंतरास्ट्रीय प्रस्ताव को पारित होने से रोक जा सकता है।

वीटो शब्द लैटिन भाषा का शब्द है, जिसका अर्थ है “मैं निषेध करता हूँ”, किसी देश के अधिकारी को एकतरफा रूप से किसी कानून को रोक लेने का यह एक अधिकारी है।

संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में जब कोई प्रस्ताव विचार के लिए लाया जाता है, तो स्थायी सदस्य इस पर विचार करते है, यदि इसमें से कोई भी देश उस प्रस्ताव पर असहमति व्यक्त करता है, तो वह प्रस्ताव पास नहीं किया जाता है | इस प्रकार की शक्ति को ही वीटो पावर कहा जाता है ।

अब हम जान गए की Veto power kya hai अब वीटो पावर के बारे में विस्तार समझते hai.

वीटो पावर के फायदे.

स्थायी सदस्यों के फैसले से अगर कोई सदस्य सहमत नहीं है तो वह वीटो पावर का इस्तेमाल करके उस फैसले को रोक सकता है।।।

वीटो पावर का इस्तेमाल किसी चीज को करने से रोकने के लिए भी किया जा सकता है।

वीटो की असली ताकत यह है कि इसमें शामिल 5 सदस्यों में से अगर कोई एक सदस्य भी वीटो कर देता है तो

उस मुद्दे पर बाकी बचे 4 सदस्यों की सहमति का कोई मतलब नही होता है।

वीटो पावर कैसे मिलता है.

वीटो (Veto) लैटिन भाषा का शब्द है जिसका मतलब होता है ‘मैं अनुमति नहीं देता हूं  वीटो पावर उन देशों को मिलता है जो इसके काबिल हैं

वीटो पावर पाने के लिए जब सुरक्षा परिषद के सारे स्थायी सदस्य पक्ष में मतदान करें और अस्थायी सदस्यों में दो-तिहाई इसका समर्थन करें

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भारत को वीटो पावर कब मिला?

अभी तक भारत को वीटो पावर नही मिला है | 

सुरक्षा परिषद् के पांच स्थाई सदस्य के पास वीटो पावर है जिसमे  रूस, चीन, अमेरिका, ब्रिटेन और फ्रांस शामिल है. ​इनमे से कोई भी सदस्य अपनी वीटो पावर की शक्ति नहीं खोना चाहता है और यही सबसे कारन है जिससे भारत को वीटो पावर में मिलने में परेशानी है. 

दुनिया की एक बड़ी आबादी भारत  में निवास करती हैं। लेकिन भारत को संयुक्त राष्ट्र के सुरक्षा परिषद में स्थाई सदस्य नहीं बनाया गया हैं।

वीटो पावर कौन कौन से देश के पास है?

अगर आप संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद् की बात कर रहे है तो पांच देश स्थायी सदस्य है जिनको Veto का अधिकार है, ये देश है:

1. सयुक्त राज्य अमेरिका (USA)

2. रूस (सोवियत संघ के विघटन के बाद ये अधिकार रूस को मिला)

3. यूनाइटेड किंगडम (UK)

4. फ्रांस

5. पीपल रिपब्लिक ऑफ़ चाइना (चीन)

अमेरिका को वीटो पावर कब मिला?

अमेरिका ने अब तक 83 बार वीटो का इस्तेमाल किया है।

 पहली बार इसने 17 मार्च, 1970 को वीटो किया था। 

अमेरिका ने ज्यादातर वीटो का इस्तेमाल इजराइल के हितों की रक्षा के लिए किया था।

सुरक्षा परिषद में कितनी बार वीटो का प्रयोग किया गया?

291 बार वीटो का प्रयोग अब तक किया गया है।

सोवियत रूस ने सबसे ज्यादा वीटो का इस्तेमाल किया। अब तक यह 141 बार वीटो का इस्तेमाल कर चुका है जो अब तक के कुल वीटो का करीब आधा है।

अमेरिका ने अब तक 83 बार वीटो का इस्तेमाल किया है। पहली बार इसने 17 मार्च, 1970 को वीटो किया था। अमेरिका ने वीटो का ज्यादातर इस्तेमाल इजरायल के हितों की रक्षा के लिए किया है।

ब्रिटेन ने इसका इस्तेमाल 32 बार किया। पहली बार 30 अक्टूबर 1956 को स्वेज संकट के दौरान किया था।

फ्रांस ने 18 बार इसका इस्तेमाल किया। पहली बार 26 जून 1946 को इसका इस्तेमाल किया था।

चीन ने 15 बार वीटो का इस्तेमाल किया। चीन ने 13 मार्च 2019 को मसूद अजहर को वैश्विक आतंकी घोषित करने के प्रस्ताव पर एक बार इसका इस्तेमाल किया था।

सबसे पहले वीटो का प्रयोग किस देश ने किया था

1920 में लीग ऑफ नेशंस की स्थापना के बाद ही वीटो पावर वुजूद में आ गया था। उस समय लीग काउंसिल के स्थायी और अस्थायी सदस्यों, दोनों के पास वीटो पावर थी।

16 फरवरी, 1946 को सोवियत समाजवादी गणराज्य संघ (यूएसएसआर) ने पहली बार वीटो पावर का इस्तेमाल किया था।

क्या वीटो पावर को संशोधित किया जाना चाहिए

संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) में पाँच प्रमुख मुद्दों पर सुधार किया जाना प्रस्तावित है:

सदस्यता की श्रेणी 

पाँच स्थायी सदस्यों द्वारा प्राप्त वीटो पावर का प्रश्न 

क्षेत्रीय प्रतिनिधित्व 

सुरक्षा परिषद के आकार का विस्तार 

प्रक्रियात्मक सुधार तथा संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद व संयुक्त राष्ट्र महासभा के बीच संबंध। इसके साथ ही अधिक स्थायी सदस्यों को शामिल करने का भी प्रस्ताव है।

Veto Power Kya Hai पर निष्कर्ष

दुनिया में किसी भी अन्य बहुपक्षीय निकाय को यूएनएससी की तुलना में सुधार की अधिक आवश्यकता नहीं है क्योंकि यह अभी भी 1945 की भू-राजनीतिक आर्किटेक्चर के अनुसार गठित है। 

यदि किसी आतंकवादी को वैश्विक आतंकवादी घोषित करने में 10 साल का समय लगता है तो इसका अंदाज़ा लगाया जा सकता है कि इसमें सुधार की कितनी आवश्यकता है। 

यूएनएससी के विस्तार पर बहस काफी समय से चल रही है किंतु अभी भी अंतर्राष्ट्रीय समुदाय और स्थायी सदस्यों के बीच आम सहमति का न होना चिंता का विषय है। 

कथनों को मूर्त रूप देने और संयुक्त राष्ट्र की बहुसंख्यक सदस्यता की इच्छा को ध्यान में रखते हुए उचित निर्णय लेने का यह उपयुक्त समय है।

तो दोस्तो यह था वीटो शक्ति के बारे में उम्मीद है की अब आप जान गए होंगे की Veto Power Kya Hai। अगर  पोस्ट अच्छी लगी हो तो अपने दोस्तो के साथ share करे

Captcha Code Kya Hai और क्यूँ उपयोग किया जाता है (2025)

दोस्तों बहुत सारे लोग कॅप्टचा कोड को देख कर परेशां हो जाते है कुछ लोगो को ये नहीं समझ आता है कि इससे क्या करना है ये क्यों दिखाया जा रहा है अगर आप के साथ भी कुछ ऐसे समस्या है तो परेशां होने की बात नहीं है.

आप बिलकुल सही जगह पे है आज आपको कॅप्टचा कोड की पूर्ण जांनकारी यहाँ पे मिलेगी.

Captcha Code kya hai, इसका उपयोग क्यों किया जाता है, इसके इस्तेमाल से होता क्या है आदि सभी प्रकार के जानकारी आज हम अपने इस लेख के माध्यम से जानेंगे।

कैप्चा कोड के बिना आज के युग मे कोई भी काम करना बहुत ही कठिन है, क्योंकि बिना कैप्चा कोड के कोई भी फर्म या कोई चीज निकलना बहुत ही मुश्किल है। मुझे पूरा भरोसा है कि ऐसे बहुत से आदमी है, जिसको इसके बारे में कोई जानकारी नही है। 

तो चलिय दोस्तो हम बात करते है, कैप्चा कोड के बारे में आज हम अपने इस लेख में कैप्चा कोड को पूरे विस्तार से जानते है।

जिनको भी इसके बारे में जानकारी नही है, वो इस लेख के माध्यम से आसानी से जान सकेंगे, क्योंकि हम पूरे विस्तार से इसके बारे में जानकारी को बताएंगे। 

तो चलिय दोस्तो शुरू करते है और जानते है की Captcha Code Kya Hai?

Captcha Code Kya Hai (What is Captcha Code in Hindi)?

सबसे पहले जानते है कि कैप्चा कोड होता क्या है –  यदि हम कोई ऑनलाइन फॉर्म भरते है, या किसी चीज का रजिस्ट्रेशन करते है, या फिर किसी ब्लॉग वेबसाइट पर कॉमेंट करने की कोशिश करते है, तो उस समय एक अजीब प्रकार का कैरेक्टर सामने बॉक्स में भरने के लिए दिया जाता है, उसी अजीबो गरीब कैरेक्टर को कैप्चा कोड के नाम से जाना जाता है।

फॉर्म भरने या कोई भी ऑनलाइन काम करने से पहले एक अजीब  कैरेक्टर आता है, जैसे कि कुछ अजीब सा अल्फाबेट या अजीब सा नम्बर भरने के लिये दिया जाता है। इसे भरते समय लोग बहुत सारी गलतियां कर लेते है, जैसे कि capital l को 1 लिखना या फिर small o को 0 लिखना। इसको पहचानने में बहुत से लोगो को बहुत सा दिक्कत आता है, इसी कैरेक्टर को कैप्चा कोड बोला जाता है।

इस कैप्चा कोड की मदद से हम वेबसाइट या अन्य किसी भी app पर हम पता लगा पाते है कि इनपुट देने वाला human है, या फिर Bot.

Captcha Code Meaning in Hindi 

कैप्चा कोड का पूरा नाम होता है, यानी कैप्चा कोड का full form 

Completely Automated Public Turing Test To Tell Computers And Humans Apart”  

कैप्चा कोड को सबसे पहले yahoo कंपनी ने इस्तेमाल किया था। तथा सबसे पहले कैप्चा  सन, 2000 ईo  बनाया गया था।

कैप्चा कोड को बनाने का सबसे बड़ा कारण यह था कि hackers लोग अपनी वेबसाइट पर traffic बनाने के लिए spam का इस्तेमाल करते थे। जिससे blog पर कमेंट कर के किसी भी वेबसाइट का लिंक वेजा जा सकता था। तो इसी से परेशान होकर कैप्चा कोड को बनाया गया था।

Captcha, ReCaptcha Code और I am Not Robot क्या है?

कैप्चा कोड का ही भाग captcha, Recaptcha तथा  i am not Robot एक भाग होते है i am not robot का मतलब होता है कि आप human है आप किसी भी  तरह के boat नहो है, i am not robot वाला code तथा google recaptcha code भी देखा होगा। यह दोनों code google captcha code के Algorithm पर काम करता है।

Recaptcha :-  Recaptcha गूगल के द्वारा मिलने वाली एक फ्री सर्विस है। जिसे वेबसाइट पर डालकर आप अपने वेबसाइट को spammer से बचा सकते है, यानी कि hackers से सुरक्षित रख सकते है। 

recaptcha भी कैप्चा code की तरह ही होता है, जिसे आसानी से वेबसाइट या वेब पेज लगाया जाता है।

कैप्चा कोड का उपयोग क्यो किया जाता है?

कैप्चा कोड का उपयोग hackers से सुरक्षित रखने के लिए किया जाता है। 

कैप्चा कोड का उपयोग सिर्फ वेबसाइट पर spam को रोकना है, बहुत सारे लोग गलत तरीको से वेबसाइट पर invalid Traffic यानी Bots भेजने का काम करता है, जो अपने वेबसाइट के लिए पूरी तरह से नुकसानदायक होता है।

अगर साफ शब्दों में बात करे तो spam और hackers से बचने के लिए ही कैप्चा कोड का प्रयोग किया जाता है।

अगर आसान शब्दों में बात करे तो कैप्चा कोड एक ऐसा Security Check Technique है, जिससे हम इंसानों और बोट्स में आसानी से फर्क को समझ सकते है।

इसे भी पढ़े:

Captcha Code Full Form in Hindi

कैप्चा कोड का फुल फ्रॉम होता है ” “Completely Automated Public Turing Test To Tell Computers And Humans Apart” होता है।

Types of Captcha in Hindi

वैसे तो कैप्चा कोड का types बहुत से है, पर आज हम आपको जरूरत के कैप्चा कोड के type के बारे में बताएंगे, यानी कुछ जरूरी कैप्चा के प्रकार को बताएंगे।

Text captcha. :-  इस प्रकार के कैप्चा कोड में आपको Alphabet और number से बने एक कोड का series दिखाई पड़ेगा। इसमें सही alphabet और सही number को पहचानना बहुत ही जरूरी है, क्योंकि अगर मिस्टेक हुआ थोड़ा भी यानी alphabet या number जो कैप्चा कोड में दिया गया है उससे match नही हुआ तो वो गलत हो जायेगा, 

इसलिए इसमें ध्यान रखना बहुत जरूरी हैं कि उसमें जैसे दिया हो small या capital जिस ढंग में हो वही ढंग में उस फॉर्मेट को भरे।

Image Captcha :- image कैप्चा भी एक कैप्चा कोड का रूप है, इसमें आपको कई सारे कई तरह के image या फ़ोटो दिखाई पड़ेंगे। जिसमें से आपको सही फ़ोटो का पहचान करना होगा, अगर आप किसी image को सही ढंग से पहचान नही कर पा रहे है तो आप कैप्चा को वेरीफाई नही कर पाएंगे।

Audio Captcha :-  audio कैप्चा भी एक कैप्चा का प्रकार है। audio कैप्चा में आपको आवाज यानी audio सुनाई पड़ेगा, और आपको जो सुनाई देगा मतलब जो बोला जायेगा उसको सही ढंग से चुन कर उस फॉर्मेट में भरना पड़ेगा, अगर आपने थोड़ा भी गलत सुन कर भरे यानी थोड़ा भी मिस्टेक हुआ तो कैप्चा कोड को वेरीफाई नही कर पाएंगे।

Math Solving Captcha :- math solving captcha भी एक प्रकार के कैप्चा का भाग है।  इस तरह के कैप्चा में आपको एक छोटा सा मैथ का सवाल दिया जाएगा,  जिसका सही फॉर्मेट आपको उस text box में भरना पड़ेगा,। जैसे कि ( 2 + 2 = ? ) ।। आपको ऐसे सवालों का सही जवाब उस फॉर्मेट में डालना पड़ेगा, नही तो कैप्चा कोड वेरीफाई नही हो पायेगा।

NLP Captcha :- nlp captcha भी एक प्रकार के कैप्चा का भाग है। इस तरह के कैप्चा के प्रयोग Advertising based वेबसाइट पर किया जाता है।  यहाँ आपको कुछ ads दिखाया जाता है, और उसी से सम्बंधित सवाल पूछा जाता है। जिसका जवाब आपको देना पड़ता है।

तो दोस्तो कुछ important ये थे types of कैप्चा code जिसके बारे में हमलोगों ने जाना।

Captcha Code के क्या फ़ायदा हैं?

कैप्चा कोड के बहुत से फायदे है, तो चलिए आह हम जानते हैं कि कैप्चा कोड के क्या क्या फायदे है। वैसे तो इससे बहुत सारे फायदे है, पर हम आपको कुछ जरूरी चीजों के बारे में बताते है।

  • वेबसाइट को Spam से बचाना ।
  • वेबसाइट पर बोट्स को रोकना ।
  • Website में Spam Comments को रोकना ।
  • Website पर Spam User Registration को रोकना ।

इसके अलावा भी वेबसाइट पर Captcha Code लगाने के बहुत सारे फाय्दे हैं ।

आपको अपने ब्लोग या वेबसाइट पर इसे जरुर लगाना चाहिए ।

यह सभी लाभ अगर आपको भी लेना है, और अपने वेबसाइट को spam free रखना है, तथा hackers से बचना है तो कैप्चा कोड का प्रयोग जरूर करे, ये बहुत ही ज्यादा सेफ करता है।

How to Solve Captcha Code in Hindi

आपको या मुझे सभी लोगो को कैप्चा कोड को solve करने में बहुत सी परेशानियों आती है, बहुत ही कठिन लगता है। पर ये चीज उतना कठिन भी नही है।  कठिन लगने का सबसे प्रमुख कारण है कि हमलोग जल्दी-जल्दी में इसका इस्तेमाल करने लगते है। परन्तु अगर इसको आराम से ध्यान देकर अच्छे से समझकर उसको सॉल्व करेंगे तो आपको किसी भी तरह की कोई परेशानी नही आएगी।

अगर आपके सामने image कैप्चा आ रहा है, तो वहाँ आपको image को सही ढंग से पहचान करना होगा और पूछे गए फ़ोटो को ही चुनना पड़ेगा, तब ही वो सही होगा या कैप्चा कोड वेरीफाई होगा नही तो कैप्चा कोड वेरीफाई नही हो पायेगा।

वेबसाइट में CAPTCHA CODE कैसे ADD करें

दोस्तो आपलोगों को जो भी Captcha किसी भी वेबसाइट पर दिखाई पड़ता है, उसमें ज्यादातर कैप्चा script को कैप्चा प्रोवाइडर ही प्रदान करता है। आप गूगल के मदद से भी अपने वेबसाइट पर कैप्चा कोड को add कर सकते है।

गूगल के सहायता से भी कैप्चा कोड को वेबसाइट पर add कर सकते है, तथा इसके अलावा अगर आपको scripting language की जानकारी है तो आप खुद से ही कैप्चा कोड को बना सकते है।

अगर आपको programming, और scripting language की जानकारी नही है तो भी कोई बात नही घबराने की जरूरत नही है आपको, आप इसके जानकारी के बिना भी बहुत आसानी से अपनी वेबसाइट पर कैप्चा कोड को लगा सकते है।

अगर आपकी वेबसाइट WordPress में है तो आप plugin डाऊनलोड करके आसानी से कैप्चा कोड को लगा सकते है।

Captcha Code Kya Hai FAQ’s

कैप्चा क्या है?

CAPTCHA का मतलब कम्प्लीटली ऑटोमेटेड पब्लिक ट्यूरिंग टेस्ट है जो कंप्यूटर और इंसानों को अलग बताता है।

मैं कैप्चा सत्यापन कैसे पूरा करूं?

कैप्चा परीक्षण पास करने के लिए, उपयोगकर्ताओं को विकृत पाठ की व्याख्या करनी होगी, प्रपत्र फ़ील्ड में सही अक्षर टाइप करने होंगे, और प्रपत्र सबमिट करना होगा।

Conclusion on Captcha Code Kya Hai

तो चलिय दोस्तों आज इतना ही, दोस्तों आपलोगो से उम्मीद करते है कि Captcha Code Kya Hai उस से सम्बंधित हमरा यह आर्टिकल आपलोगो को पसंद आया होगा, और आपके सभी सवालों का जवाब आपको मिल गया होगा।

अगर आपको हमरा यह आर्टिकल पसंद आया हो तो दोस्तों के साथ शेयर जरुर करें। शेयर करना न भूले, क्योंकि आपके साथ-साथ और लोगो को भी इसके बारे में जानकारी मिल सके। 

ऐसे ही आपलोग मेरे साथ बने रहे मेरा सपोर्ट करे कि आपलोगो को बहुत सारी जरूरी की जानकारी दे pau।

धन्यवाद।

Computer Kya Hai Iske Prakar Aur Visheshtay

हेल्लो दोस्तो आज हम बात करेंगे, कंप्यूटर के बारे में,  कंप्यूटर क्या होता है, इसका इस्तेमाल कैसे किया जाता है, इस से क्या फायदा है । आज हम अपने लेख में इसके बारे में विस्तार से जानेंगे।

आज के युग मे बिना कंप्यूटर के जानकारी के बारे में जिन व्यर्थ है, यानी बोला जाए तो टेक्नोलॉजी के अनुसार कंप्यूटर के बारे में जानकारी रखना आज के युग मे बहुत ही जरूरी है। Computer kya hai और कैसे काम करता है और इसके बारे में जानकारी रखना आज के समय में बहुत आवश्यक है

आज कल छोटे से छोटे बच्चे भी किसी कार्य को करने के लिए कंप्यूटर का महत्व देते है, पर आज भी ऐसे व्यक्ति है जिसको कंप्यूटर के बारे में जानकारी नही होता है

तो चलिय आज हम अपने लेख में कम्प्यूटर क्या है इसके प्रकार को विस्तार से जानते है इसके फायदे और इसका उपयोग।

Table of Contents

कम्प्यूटर क्या है (What is Computer in Hindi)?

कंप्यूटर – कंप्यूटर के बारे में जानने के लिए मुझे सबसे पहले ये जान ना होगा ये होता है, इस से क्या फायदा है, और इसका उपयोग क्यों और कैसे किया जाता है।

कंप्यूटर एक ऐसा इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस है जो user द्वारा इनपुट किये गया data में प्रक्रिया करके सूचनाओं को रिजल्ट के रूप में प्रदान करती है।

अर्थात साफ शब्दों में बोला जाए तो कंप्यूटर एक ऐसा इलेक्ट्रॉनिक मशीन है, जो यूजर द्वारा दिय गया निर्देशो का पालन करती है। इसमें डेटा को स्टोर, पुन प्राप्त, तथा प्रोसेस जैसा बहुत से कार्य करने की क्षमता होती है।

साफ शब्दों में जाना जाए तो कंप्यूटर शब्द, लैटिन के शब्द computare से लिया गया है, इसका अर्थ है कि कैलकुलेशन या गणना करना।

कम्प्यूटर की परिभाषा (Computer Definition in Hindi)

कंप्यूटर एक ऐसा मशीन है जो कुछ तय निर्देशो के अनुसार कार्य को सम्पादित करता है। यह एक ऐसा इलेक्ट्रॉनिक यंत्र है, जिसे जानकारी के अनुसार काम करने के लिए उपयोग किया जाता है, साफ शब्दों में बोले तो गणना या कैलकुलेशन करना।

कंप्यूटर का मुख्य तौर से 3 काम होता है, पहला data को लेना जिसे इनपुट कहते है, दूसरा उस data को प्रोसेसिंग करना, और तीसरा काम उस data के प्रोसेसिंग को दिखाना जिसे output बोला जाता है।

कंप्यूटर को हम एक ऐसा एडवांस इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस कह सकते हैं, जो कि raw डाटा को इनपुट के तौर में यूजर से लेता है, फिर उस data को प्रोग्राम (set of instructions) के द्वारा प्रॉसेस करता है, और आखिरी के परिणाम को आउटपुट के रूप में प्रकाशित करता है। ये दोनों न्यूमेरिकल और non न्यूमेरिकल (arithmetic aur logical) calculation को process करता है।

कंप्यूटर का फुल फॉर्म क्या है? (Computer Full Form in Hindi)

साफ शब्दों में बोले तो कंप्यूटर का कोई तकनीकी रूप से फुल फ्रॉम नही होता, फिर भी कंप्यूटर का एक काल्पनिक फुल फ्रॉम होता है।

Computer Ka Full Form :-

C – Commonly

O – Operated

M – Machine

P – Particularly

U – Used for

T – Technical and

E – Educational

R – Research

अगर इसे हिंदी में ट्रांसलेट करे तो, आम ऑपरेटिंग मशीन विशेष रूप से व्यपार, शिक्षा और अनुसंधान के लिये, उपयोग की जाती है।

कंप्यूटर का इतिहास (History of Computer)

आज तक इस बात को सही से प्रमाणित नही किया गया कि कब से कंप्यूटर का डेवलोपमेन्ट शुरू किया गया। लेकिन ऑफिसियली कंप्यूटर की डेवलपमेंट को generation के अनुसार बहुत हो क्लासीफाइड 5 तरीको से अभी तक किया गया है।

1. Computer की पहली पीढ़ी (First Generation) (1940-1956) “”Vacuum Tubes””

सबसे पहले कंप्यूटर के generation vacuum tubes को circuitry और magnetic drum को मेमोरी के लिए इस्तेमाल करते थे। ये size में बहुत बड़े हुआ करते थे, तथा इसे चलाने में काफी शक्ति का इस्तेमाल होते थे। ज्यादा बड़ा होने के कारण इसमें heat की बहुत समस्या थी। इन्हें univac and eniac computers भी बोला जाता है। 

2. कंप्यूटर की दूसरी पीढ़ी (Second Generation) ( 1956-1963) “”Transistors””

सेकंड generation की की कंप्यूटर transistors ने vacuum tubes की जगह ले ली। ट्रांसिस्टर्स बहुत ही कम जगह लेते थे, छोटे थे, faster तथा बहुत ही सस्ते थे, और बहुत ज्यादा energy efficient थे।

ये पहले generation के कंप्यूटर की तुलना में कम heat generated करते थे,पर फिर भी इससे heat की समस्या थी। इसे cobol aur fortran के इस्तेमाल में लाया जाता है।

3. कंप्यूटर की तीसरी पीढ़ी (Third Generation) ( 1964-1971 ) “” Integrated circuits “””

3rd generation के कंप्यूटर में पहली बार Integrated Circuit का इस्तमाल किया गया,, जिसमे Transistors को छोटे छोटे कर silicon chip के अन्दर डाला गया, जिसे Semiconductor कहा जाता है।। इससे कंप्यूटर की processing करने की क्षमता काफी हद तक बढ़ गयी।

कंप्यूटर को ज्यादा यूजर  और friendly बनाने के लिए monitors, keyboard, और operating system का इस्तेमाल कर पहली बार मार्केट में लंच किया गया।

4. कंप्यूटर की चौथी पीढ़ी (Fourth Generation) (1971-1985)  “” Microprocessors”””

चौथे generation की सबसे बड़ी खासियत है, की इसमें Microprocessor का इस्तेमाल किया गया,, जिससे हजारों Integrated Circuit को एक ही सिलिकॉन chip में embedded किया गया, इससे मशीन के आकार को कम करने में बहुत आसानी हुई।।। इसके इस्तेमाल से कंप्यूटर की efficency बहुत ही बढ़ गयी जिससे ये बहुत ही कम समय मे बहुत बड़ी-बड़ी कैलकुलेशन करने लगी।।

5. कंप्यूटर की पांचवी पीढी (Fifth Generation) ( 1985-present ) “” Artificial intelligence”””

5वा generation आज के दौर का है, जहाँ की Artificial Intelligence ने नयी-नयी Technology जैसे Speech recognition, Parallel Processing, Quantum Calculation जैसे बहुत से advanced तकनीक इस्तेमाल  में आने लगे हैं। 

कंप्यूटर की Artificial Intelligence होने के कारण स्वयं decision लेने की क्ष्य्मता कंप्यूटर में  आ चुकी है।

कंप्यूटर का आविष्कार किसने किया?

ऐसे तो कंप्यूटर के फील्ड में बहुत से लोगो ने अपना योगदान दिया, लेकिन सबसे ज्यादा योगदान Charles Babbage ने दीया, क्योंकि उन्होंने ने 1837 में सबसे पहले Analytical engine निकाला था।

उनके engine में ALU, Basic Flow control और Integrated Memory की concept लागु की गयी थी. इसी model पे ही Base करके आजकल के कंप्यूटर को design किया गया. इसी कारन उनका योगदान सबसे ज्यादा है. तभी उनको कंप्यूटर के जनक के नाम से भी जाना जाता है.

इसे भी पढ़ें:

कंप्यूटर कैसे कार्य करता है (How Computer Works in Hindi)?

Input (data) :-  input वो step है जिसमें की raw इन्फॉर्मेशन को इनपुट डिवाइस में इस्तेमाल करके कंप्यूटर में डाला जाता है, ये कुछ भी हो सकते है, जैसे लैटर, वीडियो, या पिक्चर।

Process :- process के दौरान इनपुट हुए data को instruction के अनुसार processing की जाती है, ये पूरी तरह से इंटरनल प्रोसेस है।

Output :- output के दौरान जो data पहले से प्रोसेस हो चुकी हो उसको रिजल्ट के तौर में show किया जाता है। इस रिजल्ट को हम भविष्य में देखने के लिए save कर के मेमोरी रख सकते हैं ।

कंप्यूटर हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर

कंप्यूटर हार्डवेयर :- कंप्यूटर हार्डवेयर को हम एक ऐसा फिजिकल डिवाइस कहते है जिसे हम अपने कंप्यूटर में इस्तेमाल करते है।

कंप्यूटर सॉफ्टवेयर :- कंप्यूटर सॉफ्टवेयर का मतलब होता है कोड्स का कलेक्शन, जिसे हम अपने मशीन के hard drive में इनस्टॉल करते है, हार्डवेयर को चलाने के लिय।

उदाहरण के तौर पर जो हम कंप्यूटर मोनिटर, माउस, सब का इस्तेमाल करते है, वो कंप्यूटर हार्डवेयर होता है।। जबकि इंटरनेट ब्राउज़र ,और ऑपरेटिंग सिस्टम ये सब सॉफ्टवेयर होते है।

कंप्यूटर के प्रकार (Types of Computer in Hindi)

कंप्यूटर के कोई गिनित प्रकार नही होते है, हम बता दे आपको की कंप्यूटर अनेको प्रकार के होते है, कंप्यूटर विभिन्न shape और विभिन्न साइज के होते है, इनका इस्तेमाल हम जरूरत के अनुसार करते है।

जैसे ATM पैसे निकालने के लिए, scanner किसी barcode को स्कैन करने के लिए, कैलकुलेटर किसी  कैलकुलेशन के लिए जैसे अन्य विभिन्न types के होते है कंप्यूटर। Desktop, Laptop, Tablet, severs आदि।

कंप्यूटर का उपयोग (Application of Computer in Hindi)

देखा जाए तो हम अपने जीवन मे अनेको जगह कंप्यूटर का इस्तेमाल करते है। ये हमरा देखते देखते सरीर का एक अंग बन गया है। चलिय हम इसका उपयोग बताते है।

शिक्षा के क्षेत्र में कंप्यूटर का उपयोग :

शिक्षा के क्षेत्र में कंप्यूटर का बहुत बड़ा योगदान है, आज के युग मे अगर किसी बच्चों को किसी चीज के बारे में जानकारी न हो तो कंप्यूटर के मदद से किसी भी चीज को आसानी से जान लेता है।

कंप्यूटर की मदद से लर्निंग परफॉर्मेंस में बहुत मदद मिल रही है, तथा ऑनलाइन क्लासेज भी अच्छे ढंग घर पे बैठ कर लोग इसका लाभ उठा पा रहे है।

Health and medicine :

कंप्यूटर health और मेडीसिन के लिए एक वरदान है, इसके मदद से आजकल बहुत अच्छे ढंग से मरीजो का इलाज आसानी से हो जाता है। 

आजकल सब कुछ डिजिटल हो गया है, जिससे मरीजो के आसानी से रोग के बारे में पता लग जाता है, और ऑपरेशन और इलाज में  बहुत मदद मिल जाता है।

विज्ञान के क्षेत्र में कंप्यूटर का योगदान :

इससे रिसर्च में बहुत ही असानी होती है, आजकल एक नया ट्रेंड चल रहा है, जिसे colobarretry भी कहा जाता है।। जिससे दुनिया के सारे साइंटिस्ट एक साथ मिलकर काम करते है।

Business :-  

Business में इसका बहुत बड़ा हाथ है productivity और competitiveness को बढाने के लिए इसका इस्तेमाल  मुख्य तौर से Marketing, Retailing, Banking, Stock Trading में होता है।

Recreation and entertainment : 

Entertainment के लिए एक नया अड्डा बन गया है,, जैसे movies, sports या restaurants हर जगह इसका इस्तेमाल किया जाता है।

Government :

आजकल गवर्नमेंट भी इस पर बहुत फोकस दे रही है। यदि हम बात करें Traffic, Tourism, Information & Broadcasting, Education, Aviation सभी जगह कंप्यूटर के इस्तेमाल से हमारा काम बहुत हो आसन हो गया है.।

Defence :

कंप्यूटर का इस्तेमाल सेना में भी काफी हद तक बढ़ गया है, जिस कारण हमारी सेना पहले से बहुत ज्यादा सशक्त बन गया है। जिस से आजकल सभी कामो के कंप्यूटर के मदद से कंट्रोल किया जाता है।

कंप्यूटर के लाभ

कंप्यूटर से आजकल मानव जीवन मे बहुत लाभ हो रहा है।  वैसे ये बात बिल्कुल सही है कि कंप्यूटर मानव जीवन को बहुत सहज बना दिया है, अपने incredible Speed, Accuracy और Storage के मदद से बहुत ही आसान बना दिया है।

इससे इंसान जब चाहे कुछ भी save कर सकते हैं, और कुछ भी आसानी से खोज सकते है, खुद को कंप्यूटर के माध्यम से अपने डाटा को secure और सुरक्षित रख सकते है। कंप्यूटर एक बहुत ही versatile machine होता है।

कंप्यूटर के मदद से कोई भी आदमी आसानी से multiple task, multiple operation, numerical problems को calculate कर सकते हैं वो भी कुछ seconds यानी बहुत ही कम समय मे।

इसकी बहुत बड़ी advantage है इसकी high स्पीड की जो कि कोई भी टास्क को कम्पलीट करने में मदद करती है, वो भी बहुत ही कम समय मे।

कंप्यूटर एक low cost solution होता है, क्योंकि इसमें कोई इंसान बहुत ज्यादा मात्रा में data को कम budget में save कर सकता है।

कंप्यूटर अपने calculation को लेकर बहुत ही accurate होते है, इसमें गलती  होने की संभावना न के बराबर होती है।

कंप्यूटर हमारे डिजिटल डाटा को unauthorized users जैसे कि cyber attack या access attack से रक्षा करती हैं।

कंप्यूटर के हानि

कंप्यूटर से हानि जो होते है चलिय उसके बारे में जानते है।

1. Virus और hacking attacks:-

Virus एक destructive program होता है और hacking उस unauthorized access को कहा जाता है,, जिसमें Owner को इसके बारे में पता नही लगता।

इस virus को आसानी से email attachment के द्वारा फैलाया जाता है,, कभी – कभी USB से तथा कोई infected वेवसाईट से इन्हें अपने कंप्यूटर तक पहुंचाया जाता है।

वही ये एक बार कंप्यूटर तक पहुंच जाए तो ये कंप्यूटर को पूरी तरह बर्बाद कर देती है।

2. Online cyber crime :- 

Online cyber crime को करने के लिए कंप्यूटर और नेटवर्क का इस्तेमाल किया जाता है,, वही cyberstalking और identify theft भी cyber crime के अंदर ही आता है।

3. Employment opportunity में घटौती होना :- 

कंप्यूटर एक साथ बहुत से काम को करने में सक्षम होता है, इसलिए employment opportunity को भारी नुकसान हुआ।

इसलिए banking sector से लेकर government sector सभी जगह लोगो के स्थान में बेरोजगारी बढ़ते जा रही है, ये सब कंप्यूटर का ही वज़ह है।

कंप्यूटर का भविस्य

वैसे तो कंप्यूटर में दिन ब दिन काफी टेक्नोलॉजी बदलाव आ रहे है पहले कंप्यूटर पूरा घर मे आता था, लेकिन अब कम्प्यूटर हाथ मे ही आ जाता है। धीरे-धीरे काफी सस्ती, और ज्यादा परफॉर्मेंस और ज्यादा कैपिसिटी वाली बन रही है।

एक टाइम ऐसा भी आएगा कि कंप्यूटर खुद काम करेगा,,आजकल Scientists Optical computer, DNA Computer, Neural Computer और Quantum Computer के ऊपर ज्यादा research कर रहे हैं ।  

इसके साथ साथ ही Artificial Intelligence के ऊपर भी बहुत ज्यादा ध्यान दिया जा रहा है ताकि ये खुदबखुद अपना काम सुचारू रूप से कर सके।

कंप्यूटर क्या कार्य करता है?

एक कंप्यूटर का कार्य यह होता है कि वो यूजर से इनपुट लेता है, निर्देश के अनुसार उसे प्रोसेस करता है, और उसकी रिजल्ट को अपने आऊटपुट डिवाइस के माध्यम से यूजर को दिखता है।

CPU कंप्यूटर के सभी भागों के कार्य को नियंत्रित करता है।

कम्प्यूटर फील्ड में करियर

आज के युग में कंप्यूटर आम जिंदगी का खास हिस्सा बन गया है, चाहे वह इंजन, घड़ी, ओवन, टेलीफोन, वीडियो गेम्स, एटीएम या मार्केट ही क्यों न हो।

कंप्यूटर के बिना कुछ भी सोच पाना आज के दौर में संभव नहीं है। जैसे-जैसे सूचना प्रौद्योगिकी का विकास हुआ, यह हमारी अर्थव्यवस्था में भी सबसे तेजी से विकसित होने वाला भाग बन गया।

इसलिए आजकल कंप्यूटर  सिर्फ इंजीनियरिंग तक ही सीमित नही रहा, बल्कि हर एक क्षेत्र में कंप्यूटर का अपना योगदान है।।।

नेटवर्क एडमिनिस्ट्रेटर :- हर छोटी या बड़ी कोई भी कंपनी में नेटवर्किंग बहुत जरूरी हो गया है, जिससे वो एक साथ काम कर सके।। चाहे वो सब आईटी सेक्टर से जुड़ी हो या न हो।

कंप्यूटर प्रोग्रामर :- प्रोग्रामर को ज्यादातर सॉफ्टवेयर कंपनियों में करना करना होता है।।आजकल प्रोग्रामिंग भाषाएं जैसे सी, सी++, जावा, डॉट नेट और अन्य वेब एप्लिकेशन तेजी से बढ़ रही हैं। इस क्षेत्र में तरक्की के लिए इन भाषाओं की जानकारी होना आवश्यक है।

सॉफ्टवेयर टेस्टर :-  सॉफ्टवेयर टेस्टर का काम सॉफ्टवेयर डेवलपर्स द्वारा बनाए गए काम का विश्लेषण करना है, और उसकी कार्यपद्धति की जांच करना है। इस कार्य क्षेत्र में आगे बढ़ने के अवसर बहुत ज्यादा हैं, क्योंकि यह एप्लिकेशन गेम्स के सॉफ्टवेयर की जांच में भी सहायक है।

डेटाबेस एडमिनिस्ट्रेटर :-  कंप्यूटर का वैज्ञानिक भी इसे कहा जाता है। इनको कई तरह के काम करने होते हैं जैसे हार्डवेयर या रोबोट आदि बनाना, डाटा कम्युनिकेशन के लिए नेटवर्क डिजाइन करना, उन नेटवर्क की देखभाल करना, वेबसाइट सही रखना और सही डाटा को स्टोर करना इत्यादि।

साइबर लॉ :-  इंटरनेट से जुड़ी हुई जितनी भी कानूनी समस्याएं या अपराध हैं,  वे साइबर लॉ के तहद ही हल की जाती हैं। साइबर वकील को कंप्यूटर से जुड़े हुए अपराधों के बारे में पता कर उन्हें हल करना होता है जैसे हैकिंग, क्रेडिट कॉर्ड छल, डिजिटल हस्ताक्षर, बिजनेस ट्रांजेक्शन और इलेक्ट्रॉनिक रिकॉर्ड को संभालना होता है। इन्हें प्रॉपर्टी लॉ या कॉपीराइट, सॉफ्टवेयर पेटेंट, नेटबैंकिंग जैसे मुकदमे लड़ने होते हैं।

ग्राफिक डिजाइनिंग :- आजकल यह नौकरी सबसे ज्यादा चलन में है, क्योंकि इस क्षेत्र में तरह-तरह की नौकरियां उपलब्ध हैं जैसे वेबसाइट डिजाइन, वीडियो गेम्स बनाना, अलग-अलग कंपनियों के लोगो डिजाइन, एनिमेशन करना या विज्ञापन बनाना आदि।

ऐसा कोई क्षेत्र नहीं जहां कंप्यूटर न पहुंचा हो। आजकल सरकारी क्षेत्रों में भी आईटी ऑफिसरों की जरूरत है।

कंप्यूटर पर अंतिम शब्द 

तो चलिय दोस्तो मुझे पूर्ण आशा है की मैंने आप लोगों को कंप्यूटर क्या है (What is Computer in Hindi), कंप्यूटर के गुण तथा सीमाएं लिखिए और कंप्यूटर के प्रकार के बारे में पूरी जानकारी दी और आशा करता हूँ आप लोगों को इस कंप्यूटर  के बारे में समझ आ गया होगा।

अब तो आप आसानी से समझ गए होंगे कंप्यूटर के बारे में।

अगर मेरे द्वारा बताई गई जानकारी आपको अच्छा लगा हो तो इसको सब दोस्तो के साथ शेयर जरूर करे। जिससे कि जिसको नही पता हो इसके बारे में वो भी जान सके, कंप्यूटर क्या होता है, और इसके क्या क्या फायदा और हानि है।         

धन्यवाद।

Guru Nanak Jayanti Kab, Kyon Aur Kaise Manate Hai?

Guru Nanak Jayanti 2022: दोस्तों आज हम बात करेंगे गुरु नानक जयंती के बारे में, गुरु नानक कौन थे, क्या थे, इत्यादि अनेको जानकारी आज इस लेख में उनके बारे में जाएंगे।

तो चलिय दोस्तो हम जानते है गुरु नानक के बारे में, गुरु नानक के बारे में बहुतो को पता ही नही होगा ये कौन थे और इनके बारे में अनेको जानकार।

ये सीखो के प्रथम गुरु थे, तथा नानक का नाम गुरु नानक कैसे और क्यो पड़ा, इन सारी जानकारी को आज हम इस लेख के द्वारा जानेंगे, तो चलिय दोस्तों इनके बारे में सारे जानकारी विस्तार से जानिए।

गुरु नानक जयंती क्या है 

गुरु नानक देव जी सीखो के पहले गुरु थे। आंडबर और अंधविश्वास के कट्टर विरोधी गुरु नानक के जन्म कार्तिक पूर्णिमा को मानया जाता है। इनका जन्म 15 अप्रैल 1469 को पंजाब के तलवंडी नामक स्थान पर एक किसान के यहाँ हुआ था।

गुरु नानक जी, बाबा नानक और नानकशाह के नाम से भी जाने जाते है। अपने व्यक्तितव में ये दार्शनिक, योगी, ग्रहस्थ, धर्मसुधारक, समाजसुधारक,कवि,देशभक्त,और विश्वबंधु सभी गुणों से सम्पूर्ण थे।

गुरु नानक देव जी गुरपुरब, जिन्हें गुरु नानक के प्रकाश उत्सव और गुरुनानक देव जयंती के रूप में मनाते है। गुरु नानक देव के जन्म का जश्न सिख लोग बहुत धूम- धाम से मनाते है । कार्तिक पूर्णिमा के दिन गुरु नानक जयंती मनाया जाता है।

गुरु नानक जयंती क्यों मनाई जाती है?

हर साल कार्तिक पूर्णिमा के दिन सिखो के पहले गुरु, गुरु नानक देव जी का जयंती मनाया जाता है। 

गुरु नानक देव जी की जयंती प्रकाश पर्व के रूप में मनाई जाती है। क्योकि गुरु नानक देव जी ने कुर्तियों और बुराइयों को दूर कर लोगो के जीवन मे नया प्रकाश भरने का कार्य किये।

सिख धर्म के प्रथम गुरु, गुरु नानक देव जी है। गुरु नानक देव जी ने ही सिख धर्म का स्थापना किये थे। समाज से बुराइयों को हटाने के लिए इन्होंने आपने परिवारिक जीवन और सब सुखों को त्याग कर, दूर-दूर तक यात्राय किये, और लोगो के अंदर सचाई और अच्छाई का भावना का विकास किये।

गुरु नानक देव जी ने परिवारिक सुख को त्याग कर मरदाना, लहना, बाला और रामदास इन चार साथियो को लेकर तीर्थंयात्रा पर निकल गए। 

इनहोनो सिर्फ भारतवर्ष ही नही बल्कि अफगानिस्तान और फारस के भी कुछ क्षेत्रों में यात्रा किये। गुरु नानक में समाज मे फैले अंधविश्वास और जातिवाद को मिटाने के लिए बहुत से कार्य किये। यही सबसे प्रमुख कारण है कि हर धर्म के लोग उन्हें सम्मान करते है, तथा उनके जन्मदिवस को पर्व के रूप में मनाते है।

इसलिए कार्तिक पूर्णिमा को लोग गुरु पर्व और प्रकाश पर्व के रूप में मनाते है।

गुरु नानक जयंती कब है?

वैसे तो इनका जन्म तिथि 15 अप्रैल को है, परन्तु गुरु नानक जयंती कर्तिक पूर्णिमा को ऑक्टोबर-नवम्बर में दिवाली के 15 दिन बाद ही मानाते है।

Guru Nanak Jayanti 2022 Date (गुरु पर्व 2022)

मंगलवार 8 नवम्बर 2021 को गुरु नानक जयंती मनाया जाएगा। 

गुरु नानक जयंती पर्व तिथि

जयंती तिथि               – मंगलवार, 8 नवंबर 2022

पूर्णिमा तिथि प्रारंभ     – 11:59 बजे (8 नवंबर 2022) से

पूर्णिमा तिथि समाप्त  – 14:26 बजे (9 नवंबर 2022) तक

प्रकाश पर्व कब और क्यों मनाया जाता है.

सिख समुदाय के लोग दिवाली के 15 दिन बाद गुरु नानक जयंती या प्रकाश पर्व मनाते है, गुरु नानक जयंती को ही प्रकाश पर्व के रूप में जाना जाता है। सिख धर्म के पहले गुरु, गुरु नानक जयंती को ही प्रकाश पर्व के रूप में मनाया जाता है।

प्रकाश पर्व हर समाज के हर लोगो को साथ मे रहने, और कमा कर खाने, और मेहनत ईमानदारी से किसी कार्य को करने का उपदेश देते है।

कहा जाता है कि गुरु नानक देव महाराज महान यूगपुरुष थे,। इस अवसर पर गुरुद्वारे के सेवादार संगत को गुरु नानक देव जी के बताया गए रास्ते पर चलने का संकेत देती है। गुरु नानक देव जी ने समाज मे रहने वाले बुराइयों को दूर करने में अपना पूरा जीवन गुजार दिए।

भगवान एक है। एक ही गुरु है और कोई नहीं। जहां गुरु जाते हैं, वह स्थान पवित्र हो जाता है। भगवान को याद करने, मेहनत से कमाई करने और उसके बाद बांट के खाने का संदेश दुनियाभर में देने वाले ऐसे ही गुरु को सिख समुदाय उनकी जयंती पर याद करता है। गुरु नानक देव के जयंती के रूप में मनाई जाने पर्व को ही पप्रकाश पर्व के रूप में मनाते है।

गुरु नानक जी कौन थे?

गुरु नानक जी सीखो के सबसे पहले  गुरु तथा सिख धर्म के संस्थापक थे। गुरु नानक जी का जन्म पाकिस्तान में रावी नदी के किनारे स्थित तलवंडी नामक गाँव मे हुआ था, 1469 में कार्तिक पूर्णिमा के दिन इनका जन्म हुआ था। 

इनके पिता कल्याण या मेहता कालू जी और माँ तृप्ति के घर इनका जन्म हुआ था। गुरु नानक जी हिन्दू परिवार में जन्मे थे।

सिख धर्म मे मान्यता हैं कि गुरु नानक देव बचपन से ही विशेष शक्तियों के धनी थे, अपने बहन नानकी से बहुत कुछ सीखने को मिला। उनका शादी बहुत पहले 16 साल की ही उम्र में हो गया, सुलखिनी से शादी हुई, जो कि पंजाब की रहने वाली थी। 

उनको 2 पुत्र भी हुए श्रीचंद, और लख्मी। इन दोनों बच्चों के जन्म के कुछ दिन बाद ही गुरुनानक तीर्थ पर निकल गए। उन्होंने काफी लंबा और काफी जगहों पर यात्राय किये।

इस यात्रा में उनके साथ मरदाना, लहना, बाला और रामदास भी गए। इस यात्रा के दौरान सबको उन्होंने समाजिक कुर्तियों के खिलाफ जागरूक रहने की प्रेरणा दिया। उन्होंने भारत, अफगानिस्तान तथा अरब के कई स्थान पर भर्मण किये। उन्होंने मूर्ति पूजा को निर्थक माना, और रूढ़िवाद सोच का विरोध किये।

उन्होंने अपने सिख धर्म के अनुयायीयो के लिए अपने जीवन के तीन मूल सिद्धांत जपो, कीरत करो और वांडा चखो बता के गए। उनका मृत्यु 22 सेप्टेंबर 1539 को हुआ था.।

गुरु नानक जी के उपदेश

गुरु नानक जी अपने शिष्यों को 10 उपदेश दिए। गुरुनानक जी के शिक्षा का बस एक ही उपदेश है कि परमात्मा, एक अनंत सर्वशक्तिमान और सत्यहै। मूर्ति पूजा आदि सब निरर्थक है। नाम-स्मरन ही सर्वपरि तत्व है, और नाम गुरु के द्वारा ही प्राप्त होता है।।

गुरुनानक जी ने जो 10 उपदेश अपने शिष्यों को दिए वो इस प्रकार है-

1. ईश्वर एक है। 

2. सदैव एक ही ईश्वर की उपासना करो। 

3. ईश्वर सब जगह और प्राणी मात्र में मौजूद है।

4. ईश्वर की भक्ति करने वालों को किसी का भय नहीं रहता। 

5. ईमानदारी से और मेहनत कर के उदरपूर्ति करनी चाहिए। 

6. बुरा कार्य करने के बारे में न सोचें और न किसी को सताएं। 

7. सदैव प्रसन्न रहना चाहिए। ईश्वर से सदा अपने लिए क्षमा मांगनी चाहिए। 

8. मेहनत और ईमानदारी की कमाई में से ज़रूरतमंद को भी कुछ देना चाहिए। 

9. सभी स्त्री और पुरुष बराबर हैं। 

10. भोजन शरीर को जि़ंदा रखने के लिए ज़रूरी है पर लोभ−लालच व संग्रहवृत्ति बुरी है।

गुरु नानक जयंती का महत्व:

इस दिन का महत्व बहुत ही अधिक है । गुरुनानक जयंती के महत्व सिख धर्म के लिए बहुत खास है। ऐसा कहा जाता है कि गुरुनानक जी का सांस्कारिक कर्यो में मन नही लगता था। वो ईश्वर की भक्ति और सत्संग में ज्यादा रहते थे। भगवान के प्रति उनका ऐसा समर्पण देख लोग उनको दिव्य पुरूष मानने लगे।

गुरुनानक जयंती को हर साल बेहद उत्सुकता से मनाया जाता है, क्योंकि सीखो के 10वे गुरु में से सबसे पहले गुरुनानक देव जी है। 

इतना ही नही सिख धर्म के संस्थापक भी इन्हें ही बोला जाता है। इन्ही के जन्मदिन के अवसर पर कार्तिक पूर्णिमा के समय इनका जयंती बड़े ही उत्साह के साथ मनाया जाता हैं।

यही कारण है कि उनको एक दैविक चमत्कार से कम नही माना जाता है । गुरुनानक जयंती गुरू की शिक्षायो को याद करने और उनकी पूर्णविरती करने का दिन है। 

प्रथमिक सिद्धान्तों में से एक ईश्वर में विश्वास था, जिसे एक ओंकार के रूप में भी जाना जाता है और ईश्वर की इच्छा या वाहेगुरु के लिए प्रस्तुत किया जाता है।

सिख धर्म के पवित्र ग्रन्थ, गुरु ग्रन्थ साहिब में इसका विशेष विस्तृत शिक्षाएँ मिलती हैं।

सिख धर्म के गुरुओं के नाम

सिख धर्म के 10 गुरु थे, जिनमें सबसे पहले गुरु एव सिख धर्म के जनक गुरुनानक देव जी थे। उसके बाद 9 गुरु हुए जिनमें सिख धर्म के अंतिम तथा दसवें गुरु, गुरु गोविंद सिंह थे।

सिख धर्म के 10 गुरु थे,जो इस प्रकार है-

  1. गुरु नानक देव जी (1469-1539)
  2. गुरु अंगद देव जी (1539-1552)
  3. गुरु अमर दास (1552-1574)
  4. गुरु राम दास (1574-1581)
  5. गुरु अर्जुन देव (1581-1606)
  6. गुरु हरगोविंद (1606-1644)
  7. गुरु हर राय (1645-1661 )
  8. गुरु हरकिशन (1661-1664)
  9. गुरु तेग बहादुर सिंह ( 1664-1675)
  10. गुरु गोविंद सिंह (1675-1699) 

सबसे पहले गुरु तथा सिख के संस्थापक गुरुनानक देव जी थे, उसके बाद उन्होंने अपने दोनों बेटों को छोड़कर दूसरा गुरु अंगद देव जी को बनाए। फिर तीसरे गुरु अमर दास जी बने, गुरु अंगद की उन्होंने बहुत सेवा की,जिससे प्रसन्न होकर इनको गुरु बनाये। 

चौथ गुरु राम दास जी बने जो की अमर दास के दामाद थे।

उसके बाद पांचवा गुरु अर्जुन देव बने,जो गुरु अमर दास के पुत्र थे। इसके बाद अर्जुन देव के पुत्र गुरु हरगोविंद छठा गुरु बने। 

फिर सातवें गुरु हर राय बने,जो हरगोविंद के पुत्र थे। फिर आठवें गुरु हरकिशन साहिब बने, जो हर राय के पुत्र थे । 

इसके बाद गुरु तेगबहादुर नौवा गुरु बने।

इसके बाद सिख धर्म के अंतिम गुरु गोविंद सिंह बने। जो की गुरु तेगबहादुर के पुत्र थे।

तो चलिय दोस्तो आज हमने जाना गुरुनानक देव के बारे में बहुत कुछ 

अगर मेरे द्वारा बताय गए जानकारी अच्छा लगा हो तो अपने दोस्तो के साथ शेयर करना न भूले। ज्यादा से ज्यादा लोगों को शेयर करे, जिससे जो नही जनता हो उसको भी जानकारी मिल सके।

धन्यवाद।

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VPN Kya Hai Aur Kaise Kaam Karta Hai

VPN kya hai,और इसका इस्तेमाल क्यों और कैसे किया जाता है। आज हम इस बारे में बात करेंगे, VPN के बारे में बहुत कम ही लोग जानते होंगे, अगर आप भी इस चीज को नही जानते है तो इस लेख में हम इस पर बात करेंगे।

आज हम अपने लेख के माध्यम से VPN के बारे में जानेंगे, तो चलिय दोस्तो आज हम बात करते है, VPN Kya Hai तथा इसका उपयोग क्यो किया जाता है।

VPN से फायदा के साथ-साथ नुकसान भी है, इसलिए इस लेख को ध्यान से देखे, की इसका इस्तेमाल कैसे करें, बहुतो को इसके बारे में जानकारी नही होगा इसलिए इसको आज हम विस्तार से जानेंगे।

तो चलिए सबसे पहले ये जानते है की VPN Kya hai?

VPN Kya Hai (What is VPN in Hindi) ?

What is VPN in Hindi

VPN – VPN यह एक ऐसी सेवा है,जो आपके data को लीक होने से बचाता है। VPN का पूरा नाम या VPN मतलब {Virtual Private Network} वर्चुअल प्राइवेट नेटवर्क होता है। 

यह आपके data को लीक होने से बचाता है, और आपको ऑनलाइन गोपनीयता प्रदान करता है। VPN आपके आईपी एड्रेस को भी छिपाता है, जिससे आप अपने ऑनलाइन अपनी पहचान को गोपनीय रख सकते हैं।

VPN एक नेटवर्क की तकनीक हैं, जो की इंटरनेट नेटवर्क और प्राइवेट नेटवर्क जैसे कि wi-fi में सुरक्षित कनेक्शन बनाता है। 

माना जाये तो VPN एक बहुत ही बढ़िया तरीका है, जिससे अपने पर्सनल data और नेटवर्क को तमाम हैकर और तमाम लोगो से बचाने के लिए। VPN से आप अपने पर्सनल नेटवर्क और डाटा को पूरी तरह से सुरक्षित रख सकते हैं।

VPN सर्विस का इस्तेमाल ज्यादातर ऑनलाइन काम करने वाले व्यपारि, सरकारी कर्मचारी, एजुकेशन institution तथा वैसे लोग करते हैं, जिनको अपने data को पूरी तरह सुरक्षित रखना होता है।।

VPN सभी तरह के data को सुरक्षित रखता है, जैसे जो आपके काम का चीज है उसको भी और जो न है उसको भी बहुत संभाल कर रखता है। इस सर्विस का इस्तेमाल आप अपने कंप्यूटर तथा फोन में भी Vpn apps के माध्यम से कर सकते हैं।

VPN Full Form & Meaning In Hindi 

VPN का फूल फ्रॉम होता है – वर्चुअल प्राइवेट नेटवर्क ( Virtual Private Network ) होता है।

VPN कैसे काम करता है (How VPN Works in Hindi) ?

VPN का सबसे जरूरी काम होता है, आपके पर्सनल data या आप जो भी काम कंप्यूटर या फोन जिस चीज में कर रहे हैं उसको पूरी तरह से सुरक्षित रखना।

और सबसे बड़ी फायदा VPN से यह है कि इंटरनेट पर जो कोई भी रिस्ट्रिक्शन होते है, जैसे कोई-कोई वेबसाइट ऐसे होते हैं, जिसको हम आसानी से देख नही पाते, उसको एक्सेस नही कर पाते, वैसे वेबसाइट को ये Vpn आसानी से एक्सेस तथा आसानी से दिखा देता है।। यानी कि जिस वेबसाइट को खोलने तक का अनुमति नही था, उसको Vpn के माध्यम से असांनी से देख पाएंगे।

जो वेबसाइट आपके फोन और कंप्यूटर में उस वेबसाइट को डाल कर और सर्च करने के बाद बताता हैं कि ये हमारे देश मे ब्लॉक हैं, तब VPN अपना काम सुरु करता है, यूजर के रिक्वेस्ट को उस  ब्लॉक  वेबसाइट के server पर VPN के माध्यम से वेजता है ,उसके बाद सारा डिटेल कंटेंट और इन्फॉर्मेशन यूजर के डिवाइस में दिख देता है।

अपने जरूरत की टेक्नोलॉजी, जिससे हम खुद की identity को safe रख सके, खुद को protect रखने के लिए VPN सबसे ज्यादा सिक्योर है।। यानी कि साफ शब्दों में जाने तो VPN खुद के data या नेटवर्क को secure रखने के लिए उपयोगी है।

वीपीएन का यूज कैसे करते हैं? (How to Use VPN in Hindi)

अब हमने कुछ जाना कि VPN होता क्या है, यह काम कैसे करता है। अब इसके बारे में जानना है कि इसका इस्तेमाल कैसे किया जाता है, तो चलिए अब हम इसके बारे में जानते है कि इसका यूज़ कैसे करे-: 

 1. VPN को जिस चीज में यूज़ करना है, उसमें पहले इसको install करना होगा, फिर इस apps को open करना होगा। अब इसके ऊपर के साइड में आपको menu का ऑप्प्शन दिखेगा, उस पर क्लिक करना होगा, उसके बाद सेटिंग पर क्लिक करना होगा।

2. सेटिंग को क्लिक या खोलने के बाद आपके सामने सेक्युरिटी और प्राइवेसी का ऑप्शन आएगा, उस पर क्लिक करने के बाद Vpn का ऑप्प्शन आएगा, वहाँ पर आपको इनेबल VPN पर टिक करना होगा।।

3. ऐसा करने से मतलब VPN को इनेबल करने से आपका ओपेरा ब्राउज़र एक्टिवेट हो जाएगा, अब आप इसमें सभी ब्लॉक्ड वेबसाइट को एक्सेस कर सकते है।।

4. उसके बाद ब्राउज़र के URL के पास आपको VPN लिखा हुआ दिखाई देगा, इस पर क्लिक कर के आप उसको on/off अपने जरूरत के अनुसार कर सकते है, इसके साथ आप अपने लोकेशन को भी जहाँ चाहे तहा बदल सकते है।

Computer के लिए Best Windows VPN Software

वैसे में इंटरनेट पर कंप्यूटर के लिए बहुत से Vpn सॉफ्टवेयर उपलब्ध है, लेकिन उनमें से सही चुनाव करना बहुत ही कठिन है। अतः इसलिए हमने 10 बेस्ट विंडोज  VPN सॉफ्टवेयर की एक लिस्ट तैयार किये है, जिन्हें आप अपने कंप्यूटर में इंस्टॉल कर के आप अपने identity को बचा सकते है।।

वैसे इसमें ध्यान देने की एक और बात है कि इसमें free और paid दोनों तरह की सर्विस दी जाती है, अगर आप एक नार्मल यूजर है तो ध्यान देने की बात है, की आप free VPN सर्विस का इस्तेमाल करे।।

  • CyberGhost
  • Hotspot Shield
    ExpressVPN
  • Finch VPN
  • ZPN connect
  • NordVPN
  • Windsribe
  • Total VPN
  • OpenVPN
  • Tunnel Bear
  • Zenmate
  • SurfEasy

इन सारे apps में से आप जिसका चाहे इस्तेमाल कर सकते है, पर ध्यान रहे paid और free देख कर ही इस्तेमाल करे।

SmartPhone या Mobile में VPN कैसे Set करे ?

स्मार्टफोन या मोबाइल फोन में अगर आप VPN सेट करना चाहते है तो घबराने का जरूरत नही है, आज हम आपको बताएंगे कि इसको कैसे सेट किया जाता है, बहुत ही आसान है ।

बस आपको अपने मोबाइल फोन के play store (Android)  या App Store – Apple (ios) से अपने फोन में सबसे पहले VPN apps को डाऊनलोड कर के इनस्टॉल करना होगा। तो चलिय जानते है मोबाइल फोन में इसको यूज़ करने का तरीका-: 

1. सबसे पहले अपने smartphone में एक VPN apps डाऊनलोड करे, जैसे कि windscribe, Turbo VPN को डाऊनलोड कर के पहले इनस्टॉल करे।

2. Install करने के बाद उस apps को open करे, फिर उसमें अपने मनचाहे लोकेशन को सेट करे। इसको करने के बाद सामने आपको कनेक्ट करने का ऑप्प्शन दिखेगा, उसको कनेक्ट करे।

3. जैसे ही आप इसको कनेक्ट करेंगे, उसके बाद आपके स्मार्टफोन या मोबाइल फोन में VPN नेटवर्क एक्टिवेट हो जाएगा।

इसे भी पढ़े:

SmartPhone के लिए Best VPN Apps क्या हैं?

मैने स्मार्टफोन के लिए best VPN apps की एक लिस्ट तैयार की है, जो इस प्रकार है, जिसे आप अपने जरूरत के अनुसार उपयोग कर सकते है।

  • ExpressVPN (Best VPN service with strong security)
  • Windscribe
  • NordVPN
  • Tiger VPN
  • SaferVPN
  • Buffered VPN

इन सारे apps में से जो आपको आसान लगे उस एप्प्स को इनस्टॉल कर अपने जरूरत के अनुसार उपयोग कर सकते है।

VPN Use करने के फायदे और नुकसान (Pros and Cons of Using VPN in Hindi)

कहा जाता है कि हर एक चीज का इस्तेमाल करने से फायदा के साथ-साथ नुकसान भी होता है, ठीक उसी प्रकार VPN एप्प्स को भी यूज़ करने से फायदा भी बहुत है पर साथ में नुकसान भी बहुत है। 

सही तरीको से इस्तेमाल नही करने पर इस से भी नुकसान है।

जैसा कि आज हम आपको बताने जा रहे है, इस पर अपने लेख के माध्यम से बताएंगे कि इसका इस्तेमाल कैसे करे, जिस से नुकसान से बचे। VPN apps से नुकसान भी बहुत है इसलिए ध्यान से देखे इसको सही ढंग से यूज़ करने के तरीके जो इस प्रकार है।

VPN Use करने के फायदे क्या हैं (What are the advantages of using a VPN in Hindi)?

तो चलिय जानते है कि VPN यूज़ करने के क्या फायदे है, फायदे के विषय मे पूरी जानकारी लेते है।।

1.यह एक पब्लिक कनेक्शन को seftly access करने में कैसे मदद करता है-:  बहुत बार ऐसा समय आता है, या बहुत से लोग free इंटरनेट के चक्कर मे wi-fi कनेक्शन का इस्तेमाल करना पड़ता है, लेकिन ये ज्यादा सेफ नही होते, तब ऐसे में हम VPN एप्प्स की मदद से खुद के data को sefly तथा अपने identity को छुपा कर safly ब्राउज़र कर पाते है।

2. ये एप्प्स ऑनलाइन security को बढ़ा देती है-:  जब बात ऑनलाइन safety की आती है तो internet को VPN के माध्यम से ब्राउज करना सच मे बहुत ही सिक्योर्ड होता है। 

ये आपके data और वेब डाटा को बहुत ही सुरक्षित,तथा अच्छे से प्रोटेक्ट करता है। अगर हम इसके बारे में दूसरी भाषा से बात करे तो यह एक स्ट्रांग एंटीवायरस और एक स्ट्रांग फ़ायरवॉल, के साथ-साथ एक Vpn के होने से ये हमारी सिक्योरटी में एक एक्स्ट्रा लेयर ऐड कर देता है।

3. ये आपको कोई भी शोज को देखने मे मदद करता है, कही से भी-: Geo restriction बहुत ही ज्यादा annoying होता है, लेकिन ये होता जरूर है। 

ऐसे में एक VPN आपकी काफी मदद करता है, geo location blocked website को एक्सेस करने के लिए,इसमें कोई restriction नही होता है जो कि आपको रोक सके, कोई भी शोज को देखने मे।

4. कुछ भी चीज anonymously download कर सकते है:- यदि आपका इंटरनेट सर्विस कोई भी वेबसाइट को खोलने और काम करने में रोकता है, तो आपV pn सर्विस के माध्यम से उस फ़ाइल को डाऊनलोड तथा इस्तेमाल किसी भी रूप में कर सकते है।

5. आपकी निजी जानकारी को छुपा कर रखने में मदद करता है. 

6. यह आपको फायरवॉल को बायपास करने में भी मदद करता है।

VPN Use करने के नुकसान क्या हैं (What are the disadvantages of VPN in Hindi)?

तो चलिय फिर जानते है, VPN यूज़ करने से क्या नुकसान होता है, तो नुकसान के बारे में पूरी जानकारी जानते है।

1. ज्यादातर reliable VPN फ्री नही होते है:-  वैसे तो आपको बहुत से फ्री VPN service मिल जाएंगे, पर सब का एक लिमिट होता है, जैसे कि 2 gb, 5 gb उसके बाद वो फ्री नही होते, ऐसे में आपको एक paid मंथली सब्सक्रिप्शन का इस्तेमाल करना होगा।

2. आपको  good कनेक्शन स्पीड के लिए एक अच्छे से रिसर्च करना होगा:- VPN में अक्सर सभी नेटवर्क ट्रैफिक को encrypt किया जाता है,क्योंकि इसमें काफी resource का इस्तेमाल होता है जो कि इंटरनेट कनेक्शन को काफी धीमा कर देता है, इसलिए आप बेहतर स्पीड के लिए एक paid/premium VPN service का इस्तेमाल कर सकते है।

3. सभी available VPN पर ट्रस्ट नही किया जा सकता:-  शायद ये बात तो आप सभी जानते ही होंगे की VPN ips अक्सर unique नही होते, इसे बहुत से लोगो के साथ share किया गया होता है, ऐसा होने के कारण बहुत से सिक्योरिटी issue जैसे कि ip address blacklist aur ip spoofing होने के ज्यादा संभावना होता है, इसलिए आप के लिए बेहतर होगा कि reputable, trustworthy Vpn का ही ज्यादा से ज्यादा इस्तेमाल करे।

4. कभी- कभी VPN ज्यादा काम्प्लेक्स भी हो सकते है:- जैसे कुछ VPN simple होते है, ठीक उसी तरह कुछ Vpn बहुत ज्यादा ही complex होते है। इसका मतलब यह हुआ कि बहुत ही VPN को setup करने का procedure ही कॉम्प्लेक्स होता है, जिस से कई यूजर इसको इस्तेमाल करने से भागते है।

5. अप्रत्याशित प्रदर्शन

6. आपको कनेक्शन टूटने का सामना करना पड़ सकता है।

Conclusion on VPN Kya Hai (VPN पर निष्कर्ष)  

तो दोस्तो आज हमने VPN के बारे में जानकारी लिया VPN Kya Hai, तो आशा करते है कि ये post आपको अच्छा लगे,अगर इस जानकारी से आप संतुष्ट है तो अपने दोस्तों के साथ शेयर जरूर करे। जिस से और लोगो को भी इसके बारे में जानकारी मिल सके तथा VPN के बारे में जो नही जानते है वो जान सके।

हम एक और बात जरूरी समझते है, जो आपको बता रहे है यह भी पीएम जैसी सर्विस समय ऑनलाइन सेकरियूटी और प्राइवेसी देने के लिये है तो हम इसका यूज़ अपने फायदे के लिए कर सकते है ।

ब्लॉगर्स के लिए 12 Best Time Management Tips

आपके पास अपने ब्लॉग पर या ऑनलाइन बिज़नेस पर काम करने के लिए कितना भी समय क्यों न हो पर अगर और जायदा समय मिले तो आप और ज्यादा ही अच्छा कर सकते है. है ना ? 

आज इस ब्लॉग पोस्ट में ब्लॉगर्स के लिए 12 Best Time Management Tips शेयर करने जा रहे है जिससे न सिर्फ आपकी प्रोडक्टिविटी बढ़ेगी साथ ही आपके ब्लॉग का परफॉरमेंस भी ग्रोथ करेगा.

अगर आप ध्यान देखर और सही तरीके से ब्लॉग्गिंग नहीं करेंगे तो पूरी जिंदगी आप ब्लॉग करते रहेंगे पर रिजल्ट जो आपको मिलना चाहिए वो नहीं दिखेगा. ब्लॉग्गिंग करते है 

शुरुआत में हर कोई अकेले ही ब्लॉग पे काम करता है बहुत सारे काम करने होते है जो अकेले ही करना परता है. ऐसे में लगता है की समय काम पर रहा है. अगर समय मिलता तो ब्लॉग को जल्दी सक्सेसफुल बना लेता ? 

इसलिए आज मैं आपके साथ ही टाइम मैनेज टिप्स शेयर करने जा रहा हु जिससे आप अपने समय को आसानी से मैनेज कर पाएंगे और अपनी ब्लॉग्गिंग को नेक्स्ट लेवल पे ले जा पाएंगे.

12 Helpful Time Management Tips for Bloggers

Time Management Tips for Bloggers

तो चलिए जानते है उन टिप्स के बारे में जिससे फॉलो कर एक ब्लॉगर अपना काफी समय बचा सकता है और साथ ही अपने काम में प्रोडक्टिविटी को बढ़ा सकता है.

अपने ब्लॉग के लिए विशिष्ट लक्ष्य निर्धारित करें।

अपने ब्लॉग के लिए कुछ स्पष्ट उद्देश्य रखने से आप उन कार्यों पर ध्यान केंद्रित कर सकते हैं और समय बर्बाद करने से बच सकते हैं वो भी उनको कामो को करने की वजह से जो महत्वपूर्ण नहीं हैं।

एक समय में एक कार्य करे 

एक ही समय में एक से अधिक ब्लॉगिंग कार्यों में संलग्न होने की कोशिश में बहुत अधिक ऊर्जा, प्रयास और एकाग्रता लगती है।

एक समय में एक कार्य को निपटाने से आप अपना 100% समय, ऊर्जा और प्रयास उच्च गुणवत्ता वाले काम के निर्माण में लगा सकते हैं और अपने टास्क को पूरी क्वालिटी के साथ पूरा कर सकते है.

एक ब्लॉगिंग शेड्यूल बनाएं।

यह तय करें कि प्रत्येक सप्ताह आपको अपने ब्लॉगिंग कार्यों को पूरा करने के लिए कितने घंटे की आवश्यकता है। 

दिन के हिसाब से उन्हें तोड़ दें, और उतना ही काम करते रहें। 

जो भी समय आपने निर्धारित किया है आपको ध्यान केंद्रित करेगा ताकि अपने चीजों को समय पर पूरा कर पाए 

हर रात एक टू-डू सूची बनाएं।

अपना ब्लॉगिंग डेस्क छोड़ने से पहले, तय करें कि अगले दिन आपको क्या क्या करना है। 

यह जानने से कि आपको प्रत्येक दिन क्या काम करना है और काम करने की जरुरत क्या है , हर रोज एक सवाल आज मुझे क्या करना है.? के व्यर्थ समय को कम करता है।

अपने ब्लॉग पर तब काम करें जब आप सबसे अधिक उत्पादक हों।

जरुरी नहीं है की आप har समय सबसे जायदा काम करने के मूड में रहते हो तो ऐसे में आपको अपने ब्लॉग के लिए तब काम करना है जब आप दिन भर में सबसे जयदा उत्पादक हो जब आप प्रोडक्टिविटी सबसे जायदा हाई रहती हो. इससे आप काम समय अपने ब्लॉग के लिए जायदा काम कर पाएंगे और आपको और समय काम करने से बेहतर परिणाम दिखेगा.

विचारों के लिए नोटपैड तैयार रखें।

आपको दिन भर में कभी अपने ब्लॉग के लिए कुछ नया आईडिया आ सकता है तो ऐसे में नोटपैड अपने साथ रखे और जैसे ही आपके ब्लॉग के लिए कुछ नया आईडिया आये तो उससे लिख ले नहीं तो हो सकता है दुबारा वो आईडिया आये या न आये.

ब्लॉग के लिए कंटेंट कैलेंडर बनाये।

अगर ब्लॉग्गिंग में कामयाब होना है तो कंसिस्टेंसी बहुत ही जायदा जरुरी होता है तो ऐसे में अगर आप चाहते है की आप अपने ब्लॉग पे रेगुलर पोस्ट पब्लिश कर पाए तो उसके लिए एक कैलेंडर बनाये जिसमे आपका ब्लॉग पोस्ट सचेडूले होगा की कब आपको कौन सा ब्लॉग पोस्ट लिखना और पब्लिश करना है. 

ऐसा करने से आप पुरे महीने का कंटेंट प्लान त्यार रहेगा और आप लगातार ब्लॉग पर कंटेंट बिना किसी परेशानी के पब्लिश कर पाएंगे.

सोशल मीडिया टूल्स का इस्तेमाल करें।

हर किसी सोशल मीडिया चैनल पर अलग अलग ब्लॉग पोस्ट शेयर करना टाइम कोन्सुमिंग प्रोसेस होता है ऐसे में सोशल मीडिया टूल्स का इस्तेमाल कर जिससे आप पुरे सप्ताह का सोशल शेयरिंग के लिए ब्लॉग पोस्ट को सचेडूले कर सके. इससे ब्लॉग्गिंग के लिए आपको काफी जायदा टाइम मिलेगा. समय का नुक्सान करने से बच पाएंगे.

अपनी ब्लॉगिंग गतिविधियों को ट्रैक करें।

हर सप्ताह में अपने ब्लॉग के प्रोग्रेस और पफोर्मन्स रिकॉर्ड को चेक करे साथ ही हर महीने में भी चेक करे. पीछे के महीने से करंट महीने में जो परफॉरमेंस है उसकी तुलना करे. 

ऐसा करने से आपको पता चलेगा की आपको ब्लॉग कैसे काम कर रहा है और आपको इस पर और कितना समय देने की जरुरत है और उसके अनुसार आप प्लान बना कर अपने ब्लॉग पे काम कर पाएंगे.

सुनिश्चित करें कि आप आराम करने के लिए समय निकालें

अगर आप चाहते है की आप अपने काम को लेकर प्रोडक्टिव रहे है तो ऐसे में आपको ये भी ध्यान रखना है की काम के बिच में आराम के लिए समय निकल प् रहे है. 

आराम कर और फिर से काम करने पे लगने से एक अलग ही ऊर्जा मिलती है और हम एक नयी ऊर्जा के साथ रिफ्रेश होकर अपने काम को एक नयी एनर्जी के साथ करते है. 

प्रोडक्टिविटी और परफॉरमेंस काम पर अच्छा रहे है इसके लिए समय समय से आराम भी करे.

अपने ब्लॉग पोस्ट में सामाजिक शेयर बटन जोड़ें।

अपने ब्लॉग पोस्ट पे सोशल शेयर बटन जरूर ऐड करे ऐसा करने से जिन रीडर्स को आपका कंटेंट अच्छा लगता है वो आसानी से आपके कंटेंट को सोशल मीडिया पर दिए गए बटन की मदद से शेयर कर पाएंगे. इससे आपके ब्लॉग पोस्ट का सोशल सिग्नल स्ट्रेंथ बढ़ेगा और ब्लॉग कंटेंट की रीच भी बढ़ेगी. 

अन्य ब्लॉगर्स से अतिथि पोस्ट स्वीकार करें

ब्लॉग पर आप अगर गेस्ट पोस्ट एक्सेप्ट करने लगते है तो ऐसे में आपका बहुत सारा समय बचेगा और आपको अपने ब्लॉग के लिए बिना समय दिए फ्री में ब्लॉग पोस्ट मिल जायेगा जिससे आप अपने ब्लॉग पर पब्लिश कर सकते है. इसलिए अपने ब्लॉग पर गेस्ट पोस्ट जरूर एक्सेप्ट करे पर ध्यान भी रखे की पोस्ट की क्वालिटी अच्छी होनी चाहिए. 

गेस्ट पोस्ट एक्सेप्ट करने से आपके ब्लॉग पे जायदा से ज्यादा कंटेंट पब्लिश हो पायेगा वो आपके बिना समय लगाए हुए तो ऐसे में आप अपना समय अपने ब्लॉग को प्रमोट करने में लगा सकते है. और अपने ब्लॉग को नेक्स्ट लेवल पे ले जा सकते है.

यह पर मैंने 12 टाइम मैनेजमेंट टिप्स ब्लोग्गेर्स के लिए शेयर किया है जो आपका काफी समय बचने में मदद करेगा साथ ही बचे समय का सही उपयोग कर अपने ब्लॉग को और अच्छा बना सकते है. उम्मीद है दी गयी टिप्स आप अपना कर अपने ब्लॉग परफॉरमेंस को जरूर अच्छा करेंगे. 

अगर आपको दी गयी जानकारी अच्छी लगी तो इससे अपने दोस्तों के साथ सोशल मीडिया पर जरूर शेयर करे. अगर कोई सवाल या सुझाव मैं में हो तो कमेंट कर हमे जरूर बताये.

Ganesh Chaturthi Kya Hai Aur Kyon Manate Hai? गणेश चतुर्थी 2022 में कब है

Ganesh Chaturthi 2022: गणेश चतुर्थी पर्व बरे ही धूम धाम से मनाया जाता है और हर साल इस दिन को लोग बरे हर्षा और उल्लास के साथ मनाते है पर बहुत सारे लोगो को ये नहीं पता होता है की Ganesh Chaturthi kya hai, गणेश चतुर्थी क्यो और कैसे मनाया जाता है।

अगर आप भी गणेश चतुर्थी के बारे में नहीं जानते हैं, तो मैं आज आपको गणेश चतुर्थी के बारे में जानकारी देने वाला हूं।

प्रत्येक महीने में दो चतुर्थी हिन्दू पंचाग के अनुसार पड़ती है।

इस दिन श्रद्धालु व्रत रख विधि विधान से प्रथम पूज्य भगवान गणेश जी का पूजन-अर्चन करते है, और उन्हें प्रसन्न करते हैं।

तो चलिए जानते है गणेश चतुर्थी के बारे में विस्तार से.

Ganesh Chaturthi Kya Hai (What is Ganesh Chaturthi Meaning) ?

Ganesh Chaturthi  Kya Hai Aur Kyon Manate Hai

गणेश चतुर्थी का महत्व हिन्दू संस्कृति में कोई भी कार्य शुरू करने से पहले भगवान श्री गणेश जी की पूजा सबसे पहले की जाती है।

पंडित अवधेश मिश्रा के अनुसार किसी भी शुभ कार्य को शुरू करने से पहले गणेश जी की पूजा करने से ही सफलता मिलती है और इसे शुभ माना जाता है।

भगवान गणेश के पूजन से भक्तों को सुख, समृद्धि और यश की प्राप्ति होती है। वह सभी संकट से दूर करते हैं।

गणेश चतुर्थी का व्रत करने से या फिर इस दिन गणपति की पूजा-अर्चना करने से सभी बिगड़े कार्य बन जाते हैं। साथ ही भगवान गणेश सारे संकटों को दूर करते हैं।

गणेश चतुर्थी क्यों मनाते है (Why do We Celebrate Ganesh Chaturthi) ?

गणेश जी का जन्म भाद्रपद शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को हुआ था। इसीलिए हर साल इस दिन गणेश चतुर्थी धूमधाम से मनाई जाती है

भगवान गणेश को बुद्धि, समृद्धि और सौभाग्य के देवता के रूप में पूजा जाता है।। भगवान गणेश को सभी संकट हरने वाला भी कहा जाता है।

भगवान गणेश ज्ञान, समृद्धि और सौभाग्य के प्रतीक हैं. भारत में लोग कोई भी नया काम शुरू करने से पहले भगवान गणेश की पूजा करते है. 

भगवान गणेश को विनायक और विघ्नहर्ता के नाम से भी बुलाया जाता है. गणेश जी को ऋद्धि-सिद्धि व बुद्धि का दाता भी माना जाता है

लोकमान्य तिलक जी ने ही सबसे पहले गणेश चतुर्थी त्यौहार को एक निजी उत्सव से बदलकर एक सार्वजनिक उत्सव घोषित किया. इसके पीछे का कारण ये था की, वो चाहते थे की ब्राह्मण और दुसरे जाती के लोगों के बीच का अंतर समाप्त हो जाये जिससे की सभी लोग एक दुसरे के साथ मिलकर इस उत्सव को हर्ष उल्लाश से मनाएं।

हिंदू धर्म में कोई भी पूजा, हवन या मांगलिक कार्य भगवान गणेश की स्‍तुति के बिना अधूरा है। इसलिए गणेश चतुर्थी या भगवान गणेश के जन्‍मदिवस को पूरे देश में उत्‍साहपूर्वक मनाया जाता है।

क्यों गणेश चतुर्थी 10 दिनों के लिए मनाया जाता है?

विद्वानों का मानना है कि पहले के समय में गणेश चतुर्थी पर्व को सिर्फ 1 दिन ही धूम-धाम से मनाया जाता था. लेकिन अब गणेश उत्सव 10 दिनों तक मनाया जाने लगा है. और 11वें दिन  की अनंत चतुर्दशी पर भगवान गणेश की प्रतिमा का विसर्जन किया जाता है.

धार्मिक ग्रंथों के अनुसार, श्री वेद व्यास ने गणेश चतुर्थी से महाभारत कथा श्री गणेश को लगातार 10 दिनों तक सुनाई थी। जब वेद व्यास ने 10 दिन बाद आंखें खोली तो पाया कि गणेश जी का तापमान बहुत अधिक हो गया था। इसके बाद वेद व्यास जी ने गणेश जी को निकट के सरोवर में ले जाकर ठंडा किया था।

लोकमान्य तिलक ने कहा कि भगवान गणेश जी ही मात्र एक ऐसे देवता हैं, जिन्हें सभी समाज के लोग पूजनीय मानते हैं और अंग्रेज भी इसमें दखलअंदाजी नहीं करेंगे। ऐसे में उन्होंने सबको एकजुट करने के लिए सार्वजनिक गणेशोत्सव कि शुरुआत की, जिसमें 10 दिनों तक भगवान गणेश का ये उत्सव हर साल जोर-शोर से मनाया जाने लगा।

गणेश चतुर्थी की शुभ मुहूर्त कब है?

31 अगस्त, बुधवार को दोपहर में 11:04 बजे से दोपहर 01:50 बजे के मध्य गणपति की पूजा का मुहूर्त है।

प्रत्येक महीने में दो चतुर्थी होती है जिन्हें भगवान श्री गणेशजी की तिथि माना जाता हैं. 

दो में से एक जो अमावस्या के बाद आने वाली शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को विनायक चतुर्थी कहते हैं और पूर्णिमा के बाद आने वाली कृष्ण पक्ष की चतुर्थी को संकष्टी चतुर्थी कहते हैं.।

गणेश चतुर्थी कब है 2022 में (Ganesh Chaturthi 2022 Date)?

गणेश चतुर्थी 2021 में शुक्रवार के दिन 31 August को है।

यह भी पढ़े:

गणेश चतुर्थी के मुख्य मंत्र क्या हैं?

गणेश जी के मुख्य मंत्रों में से एक मंत्र ये है–: 

“ॐ गं गणपतये नम:

गणेश जी के इस मंत्र के जाप करने से जीवन के तमाम विघ्न दूर हो जाते है।।।।

वैसे गणेश जी के 5 मंत्र होते है।।

1. उच्छिष्ट गणपति का मंत्र..

– ॐ हस्ति पिशाचि लिखे स्वाहा।।

2 . आलस्य, निराशा, कलह, विघ्न दूर करने के लिए  यह मंत्र जपें –  गं क्षिप्रप्रसादनाय नम:

3 . विघ्न को दूर करके धन व आत्मबल की प्राप्ति के लिए गणपति का मंत्र जपें -‘ॐ गंं नमः’

4 . रोजगार की प्राप्ति व आर्थिक वृद्धि के लिए – – ॐ श्रीं गं सौम्याय गणपतये वर वरद सर्वजनं मे वशमानय स्वाहा।

5 . विवाह में आने वाले दोषों को दूर करने वालों  गणेश मंत्र का जप करने से शीघ्र विवाह व अनुकूल जीवनसाथी की प्राप्ति होती है- 

– ॐ वक्रतुण्डैक दंष्ट्राय क्लीं ह्रीं श्रीं गं गणपते वर वरद सर्वजनं मे वशमानय स्वाहा।

गणेश चतुर्थी पूजा विधि

जिस किसी साल श्री गणेश जी का जन्मोत्सव व्रत रविवार और मंगलवार के दिन पड़ता है,, उस साल इस व्रत को महाचतुर्थी व्रत कहा जाता है। महाचतुर्थी व्रत के दिन पूजा पाठ करने से इंसान के सारे कष्ट दूर हो जाते हैं।

देवों में गणेश जी प्रथम पूजनीय देवता माने जाते हैं। किसी भी शुभ कार्य को करने से पहले गणेश को जरूर याद किया जाता है। भगवान गणेश बहुत ही कृपालु हैं,, इनके पूजन से सारे कष्ट दूर हो जाते है।

पुजन विधि: 

प्रातः काल स्नान करने के बाद व्रत का संकल्प लेते हुए गणपति का ध्यान करें। एक साफ चौकी पर पीले रंग का कपड़ा बिछाकर इसके ऊपर गणेश जी की मूर्ति को स्थापित करें।

गंगा जल का छिड़काव करके पूरे स्थान को पवित्र करें। भगवान श्री गणेश को पुष्प की मदद से जल अर्पित करें। इसके बाद लाल रंग का पुष्प, जनेऊ, दूब, पान, सुपारी. लौंग, इलायची, नारियल और मिठाई भगवान को समर्पित करें। 

भगवान गणेश को मोदक का भोग लगाएं। सभी चढ़ावा के बाद भगवान गणेश का धूप, दीप और अगरबत्ती से आरती करें। मंत्र जाप के बाद कथा का श्रवण करें।

मंत्र जाप :

वक्रतुण्ड महाकाय सूर्यकोटि समप्रभ।

निर्विघ्नं कुरु मे देव सर्वकार्येषु सर्वदा॥

ॐ श्री गं गणपतये नम: का जाप करें।

मंत्र जाप और पूजा करने के बाद आखिरी में चंद्रमा को दिए हुए मुहूर्त पर अर्घ्य देकर अपने व्रत को पूर्ण करें।।

यदि आपकी कुंडली में सूर्य ग्रह कमजोर है, तो सूर्य ग्रह को मजबूत करने के लिए श्रीगणेश चतुर्थी व्रत किया जा सकता है।

इस व्रत को करके और सूर्य को प्रणाम किया जाता है और गणेशजी की आराधना की जाती है। इससे आपकी कुंडली में सूर्य के द्वारा होने वाली परेशानियां समाप्त हो जाती हैं।

पूजन करने से पहले ध्यान रहे कि आपका मुख पूर्व या उत्तर की तरफ ही रहे, भगवान श्री गणेश को पुष्प की मदद से जल अर्पित करे।

यह भी पढ़े:

गणेश चतुर्थी कब मनायी जाती है (When Ganesh Chaturthi is Celebrated in Hindi) ?

गणेश चतुर्थी भारत के विभिन्न राज्यो में मनाया जाता है पर महाराष्ट्र में बहुत धूम धाम से इस त्योहार को मनाया जाता है।

गणेश चतुर्थी गणेश जी के जन्मदिन पर मनाया जाता है।

गणेश जी का जन्म भाद्रपद शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को हुआ था, इसलिए इस दिन को गणेश चतुर्थी के रूप में मनाया जाता है।

गणेश चतुर्थी के दिन भगवान गणेश को बुद्धि, समृद्धि, और सौभाग्य के देवता के रूप में मनाया जाता है।

तो दोस्तो आज हमने जाना गणेश चतुर्थी के बारे में अगर जानकारी अच्छा लगा हो तो दोस्तों के साथ शेयर जरूर करे।

Swatantrata Diwas Kya Hai Swatantra Diwas Kyon Manaya Jata Hai? 15 अगस्त की जानकारी

दोस्तो आज हम बात करेंगे स्वंत्रता दिवस के बारे में Swatantrata diwas kya hai, Swatantra Diwas Kyon Manaya Jata Hai और भी बहुत कुछ।

यह दिन हर भारतवासी के लिए उत्साह से भरा हुआ दिन होता है देशभक्ति की भावना पूरी तरह से लोगो में देखने को मिलती है. यह दिन भारत का राष्ट्रीय पर्व है 

15 अगस्त 1947 को भारत को अंग्रेजो के दास्तान से आजादी मिली और इस दिन ही भारत एक स्वतंत्र देश के रूप में दुनिया के सामने उभरा.

इस लेख के माध्यम से आज हम आपको स्वंत्रता दिवस के बारे में कुछ बाते बतायेंगे ।

Swatantrata Diwas Kya Hai Swatantra Diwas Kyon Manaya Jata Hai

Swatantrata Diwas क्या है? (What is Independence Day in Hindi)

तो चलिए विस्तार में जानते है की स्वतंत्र दिवस क्या है और 15 अगस्त को इससे क्यों मनाया जाता है.

भारत का स्वतंत्रता दिवस

(अंग्रेज़ी में इसको :  Independence Day of India )

(हिंदी में इसको :  स्वतंत्रता दिवस)

(संस्कृतम् में इसको : “स्वातन्त्र्यदिनोत्सवः”) 

हर वर्ष 15 अगस्त को हमारे भारत देश मे स्वंत्रता दिवस मनाया जाता है। 

सन् 1947 ई. में इसी दिन भारत के निवासियों ने ब्रिटिश शासन से स्‍वतंत्रता प्राप्त की थी, तब से इस दिन को स्वंत्रता दिवस के रूप में मनाते है।

यह भारत का राष्ट्रीय त्यौहार भी है।

प्रतिवर्ष इस दिन भारत के प्रधानमंत्री लाल किले की प्राचीर से देश को सम्बोधित करते हैं।

15 अगस्त 1947  के दिन भारत के प्रथम प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू ने, दिल्ली में लाल किले के लाहौरी गेट के ऊपर, भारतीय राष्ट्रीय ध्वज फहराया था

महात्मा गाँधी के नेतृत्व में भारतीय स्वतंत्रता संग्राम में लोगों ने काफी हद तक अहिंसक प्रतिरोध और सविनय अवज्ञा आंदोलनों में हिस्सा लिया।

स्वतंत्रता के बाद ब्रिटिश भारत को धार्मिक आधार पर विभाजित किया गया जिसमें भारत और पाकिस्तान का उदय हुआ।

इस दिन को झंडा फहराने के समारोह, परेड और सांस्कृतिक आयोजनों के साथ पूरे भारत में मनाया जाता है। भारतीय इस दिन अपनी पोशाक, सामान, घरों और वाहनों पर राष्ट्रीय ध्वज प्रदर्शित कर इस उत्सव को मनाते हैं।

15 अगस्त के दिन हर भारतीय स्वंत्रता दिवस के रूप में मनाते है।

इस दिन सभी राष्ट्रीय, राज्य और स्थानीय सरकार के कार्यालय, बैंक, पोस्ट ऑफिस, बाजार, दुकानें, व्यापार, संस्थान आदि बंद रहते है। 

हालांकि, सार्वजनिक परिवहन बिल्कुल प्रभावित नहीं होता है। इसे बहुत उत्साह के साथ भारत की राजधानी दिल्ली में मनाया जाता है जबकि स्कूल, कॉलेज और सार्वजनिक समुदाय तथा समाज सहित दूसरे शिक्षण संस्थानों में भी मनाया जाता है।

15 अगस्त शायरी | 15 August Shayari in Hindi

Swatantrata Diwas Kyon Manaya Jata Hai? (Why Celebrate Independence Day in Hindi?)

सन् 1947 में इसी दिन भारत के निवासियों ने ब्रिटिश शासन से स्‍वतंत्रता प्राप्त की थी।

यह भारत का राष्ट्रीय त्यौहार है। 

प्रतिवर्ष इस दिन भारत के प्रधानमंत्री लाल किले की प्राचीर से देश को सम्बोधित करते हैं।

इस दिन को झंडा फहराने के समारोह, परेड और सांस्कृतिक आयोजनों के साथ पूरे भारत में मनाया जाता है।

यह खास दिन हमें ब्रिटिश उपनिवेशवाद से मिली आजादी की याद दिलाता है, जिसके बाद ही भारत को एक स्‍वतंत्र व संप्रभु देश घोषित किया गया।

भारत की आजादी के लिए यह तारीख लॉर्ड माउंटबेटन ने चुनी थी, जिन्‍हें 1947 में भारत के आखिरी वायसराय के तौर पर नियुक्त किया गया था।

ब्रिटिश संसद ने लॉर्ड माउंटबेटन को 30 जून, 1948 तक यहां की सत्‍ता भारतीयों को स्‍थानांतरित करने का अधिकार दिया था, लेकिन उन्‍होंने इसके लिए 15 अगस्त की तारीख ही चुनी।

कुछ इतिहासकारों का यह भी कहना है कि माउंटबेटन ने सी राजगोपालाचारी के सुझाव पर भारत की आजादी के लिए यह तारीख चुनी थी।

Swatantrata Diwas कब मनाया जाता है (When India celebrate Independence Day?)

हर साल भारतवर्ष में 15 अगस्त के दिन ही हर्ष और उल्‍लास के साथ स्वतंत्रता दिवस के रूप में  मनाया जाता है ।

यह प्रत्‍येक भारतीय को एक नई शुरूआत की याद दिलाता है।

इस दिन 200 वर्ष से अधिक समय तक ब्रिटिश उपनिवेशवाद के चंगुल से छूट कर एक नए युग की शुरूआत हुई थी।

15 अगस्‍त 1947 वह भाग्‍यशाली दिन था जब भारत को ब्रिटिश उपनिवेशवाद से स्‍वतंत्र घोषित किया गया और नियंत्रण की बागडोर देश के नेताओं को सौंप दी गई।

भारत द्वारा आजादी पाना उसका भाग्‍य था, जिसमें अनेक स्‍वतंत्रता सेनानियों ने अपने जीवन कुर्बान कर दिए।

स्वतंत्रता दिवस का क्या महत्व है? (Importance of Independence Day in Hindi)

15 अगस्त को भारत में स्वतंत्रता दिवस के रुप में मनाया जाता है।

क्योंकि इसी दिन (15 अगस्त 1947) को भारत देश को अंग्रेजों के अत्याचार से आजादी मिली थी इसीलिए इस दिन को स्वतंत्रता दिवस के रूप में मनाया जाता है।

 यह दिन हमे आजादी के लिए स्वतंत्रता सेनानियों द्वारा किए गए त्याग और बलिदान की याद दिलाता है।

गणतंत्र दिवस और स्वतंत्रता दिवस में क्या अंतर है?(What is the difference between Republic Day and Independence Day)

26 जनवरी को गणतंत्र दिवस के रूप में मनाया जाता है, क्योंकि इस दिन साल 1950 में देश का संविधान बनकर तैयार हुआ था.

जबकि 15 अगस्त के दिन देश को आजादी मिली थी, इसलिए इस दिन को देश स्वतंत्रता दिवस के रूप में मनाता है

स्वतंत्रता दिवस पर झंडे को नीचे से रस्सी द्वारा खींचकर ऊपर लाया जाता है, फिर खोलकर फहराया जाता है, जिसे ध्वजारोहण कहा जाता है

जबकि 26 जनवरी गणतंत्र दिवस पर झंडा ऊपर ही बंधा रहता है, जिसे खोलकर फहराया जाता है. इसे संविधान में ‘Flag Unfurling’ कहा जाता है

स्वतंत्रता दिवस पर ध्वजारोहण लालकिले से किया जाता है. जबकि गणतंत्र दिवस के दिन झंडा राजपथ पर फहराया जाता है

स्वतंत्रता दिवस पर लालकिले से ध्वजारोहण प्रधानमंत्री करते हैं. जबकि गणतंत्र दिवस पर राष्ट्रपति राजपथ पर झंडा फहराते हैं |

गणतंत्र दिवस पर देश अपनी सैन्य ताकत और सांस्कृतिक विलक्षणता को दिखाता है. जबकि स्वतंत्रता दिवस के दिन ऐसा कुछ नहीं होता है 

स्वतंत्रता दिवस पर 10 लाइन (10 Lines on Independence Day in Hindi)

आज के समय में लोग ज्यादा बाते करने से बचते हैं उन्हें अपना समय बहुत ही कीमती लगता है| ज्यादा समय न होने की कमी से लोग अपना इतिहास भूलें बैठे हैं 

बहुत से लोग ये भूल चुके हैं की 15 अगस्त के दिन क्या क्या हुआ था ? किसने किसे क्या कहा था? कौन था जिसकी वजह से 15 अगस्त मनाया जाता है?

खैर माफ़ कीजिये मैं केवल आपके सामने कुछ लाइने लेकर आया हूँ जिससे आपको कुछ भूली बिछड़ी बाते याद आ जाएँगी और आपको पता चलेगा की देश की आज़ादी के क्या मायने है.

भारत दुनिया का सबसे पहला और सबसे बड़ा देश हैं जहां सभी प्रकार की जाती धर्म के लोग रहते हैं | यहाँ आपको 1652 प्रकार की भाषाएँ मिलेंगी जिसमे से कुछ ही भाषा ज्यादा प्रयोग में लायी जाती है.

भारत में सबसे ज्यादा बोली जाने वाली भाषा हिंदी भाषा है Hindi भाषा भारत की सर्वश्रेष्ठ भाषा है जिसे दुनिया का प्रत्येक व्यक्ति समझ ही लेता है.

भारत में अनेक प्रकार के लोगों की अनेक भाषाओं के बिच केवल हिंदी भाषा ही है जिसे आसानी के साथ समझा जाता है.

भारत के स्वतंत्रता दिवस पर 10 लाइने | स्कूल, कॉलेज, भाषण समारोह में बोली जाने वाली 15 अगस्त पर 10 लाइन आज मै आपको बताने जा रहा हूँ जो इस प्रकार है.

10 Lines on Independence Day in Hindi (स्वतंत्रता दिवस पर 10 लाइन)

  1. भारत का सबसे महत्वपूर्ण दिवस स्वतंत्रता दिवस होता है।
  2. भारत की स्वतंत्रता के लिए न जाने कितने लोगों ने अपनी जान का त्याग किया है|
  3. हर साल 15 अगस्त पर बड़ी ही धूम धाम से इस दिन को मानाया जाता है|
  4. भारत का स्वतंत्रता दिवस 15 अगस्त 1947 को ब्रिटीशि से जीतने की ख़ुशी में मनाया जाता है|
  5. भारत के अन्य त्योहारों में इस त्यौहार को सबसे ज्यादा मनाया जाता है |
  6. 15 अगस्त के कुछ दिनों पहले ही भारत की तीनो सेनायें पहले से ज्यादा मजबूत और एकजुट हो जाती है|
  7. 15 अगस्त के दिन यदि किसी पर शक भी होता है तो उसे बिना चेक किया नहीं छोड़ा जाता है|
  8. 15 अगस्त के दिन भारत के शहीदों को याद किया जाता है| 15 अगस्त के एक दिन पहले 14 अगस्त को स्कूलों में झांकियां और अलग अलग प्रकार के नृत्य,नाट्य किये जाते हैं|
  9. भारत की एकता ही उसकी शक्ति हैं 15 अगस्त सभी दुःख दर्द आपसी बैर भाव भुला कर ख़ुशी बनाने का त्यौहार है|
  10. प्रत्येक शहर में सरकारी अवकाश रहने पर प्रत्येक संस्थान बंद रहते हैं|

अंग्रेजों के अत्याचारों और अमानवीय व्यवहारों से त्रस्त भारतीय जनता एकजुट हो इससे छुटकारा पाने हेतु कृतसंकल्प हो गई।

सुभाषचंद्र बोस, भगतसिंह, चंद्रशेखर आजाद ने क्रांति की आग फैलाई और अपने प्राणों की आहुति दी। 

सरदार वल्लभभाई पटेल, गांधीजी, नेहरूजी ने सत्य, अहिंसा और बिना हथियारों की लड़ाई लड़ी। 

सत्याग्रह आंदोलन किए, लाठियां खाईं, कई बार जेल गए और अंग्रेजों को हमारा देश छोड़कर जाने पर मजबूर कर दिया।

इस तरह 15 अगस्त 1947 का दिन हमारे देश के लिए ‘स्वर्णिम दिन’ बना।  हम, हमारा देश स्वतंत्र हो गए।

यह दिन 1947 से आज तक हम बड़े उत्साह और प्रसन्नता के साथ मनाते चले आ रहे हैं। 

इस दिन सभी विद्यालयों, सरकारी कार्यालयों पर राष्ट्रीय ध्वज फहराया जाता है, राष्ट्रगीत गाया जाता है और इन सभी महापुरुषों, शहीदों को श्रद्धांजल‍ि दी जाती है जिन्होंने स्वतंत्रता हेतु प्रयत्न किए। मिठाइयां बांटी जाती हैं।

FAQ on Swatantra Diwas

स्वतंत्रता दिवस कब क्यों और कैसे मनाया जाता है?

स्वतंत्रता दिवस 15 august 1947 में ब्रिटिश शासन से भारत की आजादी की याद में मनाया जाता है

15 अगस्त क्यों मनाया जाता है

इस दिन हमें ब्रिटिश शासन से आजादी मिली थी.

हमारे देश को आजादी कैसे मिली?

आजादी हमें यूं ही नहीं मिली। इसके लिए न जाने कितने फांसी के फंदे पर झूले थे और न जाने कितनों ने गोली खाई थी, तब जाकर हमने यह आजादी पाई ।


क्या 26 जनवरी और 15 अगस्त के बीच अंतर है?

15 अगस्त 1947 को भारत आजाद हुआ था। जिसे हम स्वतंत्रता दिवस के रूप में मनाते हैं। इसके बाद हमने अपना संविधान बनाया और इसे 26 जनवरी 1950 को लागू किया। जिसे गणतंत्र दिवस के रूप में मनाया जाता है।
15 अगस्त यानी स्वतंत्रता दिवस के दिन तिरंगे को ऊपर की ओर खींचकर फहराया जाता है। जबकि गणतंत्र दिवस पर झंडा ऊपर ही बंधा होता है, इसे वहीं खोलकर फहराया जाता है
15 अगस्त के दिन तिरंगे का ध्वजारोहण (Flag Hoisting) किया जाता है। जबकि गणतंत्र दिवस यानी 26 जनवरी के दिन झंडा फहराना कहा जाता है न कि ध्वजारोहण।
स्वतंत्रता दिवस (independence day) पर प्रधानमंत्री ध्वजारोहण करते हैं। गणतंत्र दिवस (Republic Day) पर राष्ट्रपति झंझा फहराते हैं।
स्वतंत्रता दिवस लाल किले पर झंडा ध्वजारोहण किया जाता है गणतंत्र दिवस पर राजपथ पर झंडा फहराया जाता है। ।


फ्लैग होस्टिंग को हिंदी में क्या कहते हैं?

स्वतंत्रता दिवस में ध्वजारोहण को अंग्रेजी में फ्लैग होस्टिंग (Flag Hoisting) कहते हैं

Conclusion: Swatantra Diwas Kyon Manaya Jata Hai

इस लेख में आपने विस्तार से जाना स्वतंत्र दिवस के बारे में उम्मीद है की आपको इंडिपेंडेंस डे से जुड़े सभी सवालो के जवाब आपको मिल गए होंगे Swatantrata Diwas Kya hai aur Swatantra Diwas kyon manaya jata hai.

आशा करता हूँ कि आपलोगो को मेरे द्वारा दिये गए जानकारी अच्छा लगा होगा ,तो अपने दोस्तो के साथ शेयर जरूर करे । 

धन्यवाद।

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